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________________ विषय-सूची अनेकान्त के प्रकाशन में विलम्ब 1: मुख्तार श्री जुगल किशोर जी |.' की ८८ वीं जन्म-जयन्ती विषय 1. श्री संभवजिन-ग्नुनि श्री ग्यमन्त द्राचार्य १४५] जैन सहित और इतिहास के प्रसिद्ध विद्वान पं. २. राजस्थानी भाषा का प्रध्यान्म-गीत जुगलकिशोर जी मुन्नार की ८८ वी जन्म जयनी एटा में -अज्ञात कर्तक ५१६ | मानन्द मनाई जा रही है । मुख्तार पाहक याजकल ३. जैन दर्शन और उसकी पृष्ठभूमि एटा में अपने भतीजे डा. श्रीचन्द जी के पास टहरे पं. कैलाश चन्द्र जैन शाम्बी १४.हा है। ४. जैन धर्म में मृति पृजा हमारी हार्दिक भावना है कि मुख्तार माहय गत वर्ष -डा. विद्याधर जोहरापुरकर १५५ जीबी हों। १. संवेग -मुनि धी नथमलजी -अनेकान्त परिवार ६. दिल्ली पत्र के मूलमंधी भट्टारकों का समयक्रम -डा. ज्योति प्रसाद जैन १५६ ७. भारतीय दान की नीन धागा का कारण --भगवानदास बजाम.. १६४ अनकान्त जिम प्रय में छाना था उममें कार्य अधिक ६. देवनानी का गट देवगट -श्री नीरज जैन १६५ होने के कारगा कुछ अव्यवस्था मी रही, योर श्रमकान्त का १. गांधकरण परमानन्द जैन शाम्बी १६ । कुछ अावश्यक मैटर खो जाने से इस अंक के प्रकाशन में १०. कविवर भाऊ की काव्य-साधना अधिक विलम्ब हो गया है। इसके लिये हम पाठकों से -डा. कम्नरचन्द कागलीवाल १७२ नमा चाहते है। १. और श्राम दुलक पड़े (मार्मिक कहानी) रानरेन्द्र भाननावन एम० ए० पी०एन०डी । -प्रकाशक अनेकान्त १२. अजीमगंज के भंडार का रजतान्तरी कल्पसूत्र वीर-वाणी का विशेषांक -श्री भंवरलाल नाहटा 1७८ वीर-वाणी का विशेषांक बड़ी सजधज, के साथ १३. स्तनचन्द और उनका काव्य .. गंगाराम गर्ग एम. ए. १८८ | प्रकाशित हो रहा है । पाठक महानुभाव उसके ग्राहक बन १४ मान्मार्ग की दृष्टि से सम्यग्ज्ञान का निम्यगा कर पहयोग प्रदान करें। -परनाराम जन 12. प्रकाशक 11.नसमाज के समनचलन प्रश्न वीरवाया २ -कभार नन्दसिह दधारिया : ५६. मंन श्री गगा चन्द्र -परमानन्द शास्त्रा 156 ११. माहि य-यमीना -डा. प्रमागर जन । अनेकान्त का वार्षिक मूल्य ६) रुपये सम्पादक-मण्डल एक किरण का मूल्य १ रुपया २५ न. पै. डा. आ. ने, उपाध्ये अनेकान्त में प्रकाशित विचासे के लिए सम्पादक डा. प्रेममागर जैन मंदल उत्तरदायी नहीं है। * श्री यशपाल जैन
SR No.538017
Book TitleAnekant 1964 Book 17 Ank 01 to 06
Original Sutra AuthorN/A
AuthorA N Upadhye
PublisherVeer Seva Mandir Trust
Publication Year1964
Total Pages310
LanguageHindi
ClassificationMagazine, India_Anekant, & India
File Size16 MB
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