SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 353
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ देवचन्द्रकृत राजावली कथा की विषय-सूची यह 'राजावली कथा' एक ऐतिहासिक ग्रन्थ मानी जाती है। बल्कि कई ऐतिहासिक विद्वानों ने इसके प्रमाणभूत उद्धरणों से अपनी कृति को समलङ्कृत किया है। पर है यह कन्नड़ भाषा में । अतः हिन्दी भाषा-भाषी इतिहासवेत्ताओं की कुछ जानकारी के लिये यहाँ इस ग्रन्थ के अन्तर्गत विषयों की सूची मात्र दिये देता हूँ। अवकाशानुसार इस ग्रन्थ के अन्तर्गत बातों पर भी प्रकाश डालने की चेष्टा की जायगी । - के० बी० शास्त्री प्रथम प्रकरण ( १ से ६ पृष्ठ तक ) १ मङ्गलाचरण | २ पाठक विद्वानों से इसकी स्वीकृति की प्रार्थना एवं त्रुटियों को सुधारने के लिये अनुरोध । ३ 'राजावली कथा' के नाम की सार्थकता का स्पष्टीकरण । ४ लोकस्वरूप | ५ कालव्यवस्था । ६ मनुओं का विषय, आदि ब्रह्म (ऋषभ तीर्थङ्कर) की उत्पत्ति, सृष्टि विषय | ७ वर्णाश्रम धर्म-विवरण | . राजवंशोत्पत्ति | 8 भरतचक्रवर्ती का दिग्विजय, बाहुबलि-युद्ध एवं दीक्षा ग्रहण | १० मरीचिदीक्षा, कपिल - सिद्धान्त की उत्पत्ति । ११ अक्षय तृतीया इस नामकरण का हेतु । १२ श्रावणी कर्म का आदि कारण । १३ शिवरात्रि शब्द की चरितार्थता I
SR No.529551
Book TitleJain Siddhant Bhaskar
Original Sutra AuthorN/A
AuthorJain Siddhant Bhavan
PublisherJain Siddhant Bhavan
Publication Year
Total Pages417
LanguageHindi
ClassificationMagazine, India_Jain Siddhant Bhaskar, & India
File Size10 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy