________________
गुजराती अनुवाद :
तेटलान्मां अकस्मात् वेगवाला घोडाथी अपहरण करायेलो एक स्कलो राजपुत्र त्यां आव्यो. हिन्दी अनुवाद :
तभी अचानक वेग वाले घोड़े से अपहृत एक अकेला राजपुत्र वहाँ आया। गाहा :
अह अतिहि-वच्छलेहिं तावस-कुमरेहिं विहिय-संमाणो ।
आगम्म विहिय-विणओ उवविट्ठो कुलवइ-समीवे ।।३९॥ संस्कृत छाया :
अथाऽतिथिवत्सलैस्तापसकुमारै-विहितसन्मानः ।
आगम्य विहितविनय उपविष्टः कुलपति-समीपे ।।३९।। गुजराती अनुवाद :
त्यारबाद अतिथि वत्सल स्वा तापस कुमारोस तेनु सन्मान कर्यु. करेला विनयवाळो ते पण कुलपतिनी पासे बेठो. हिन्दी अनुवाद :
उसके बाद अतिथि-प्रेमी तापस कुमारों ने उसका सम्मान किया। सम्मान किया हुआ वह राजपुत्र कुलपति के पास बैठा। गाहा :
कुलवइणा सो पुट्ठो को सि तुमं आगओ कुओ भइ!? । तत्तो य तेण भणियं कहेमि निसुणेह भयवं! ति ।।४०।। संस्कृत छाया :
कुलपतिना स पृष्टः कोऽसि त्वं ? आगतः कुतो भद्र ! ?।
ततश्च तेन भणितं, कथयामि निशृणुत भगवन् ! इति ।।४०।। गुजराती अनुवाद :____ कुलपतिस पूछयु- हे भद्र! तुं कोण छे? क्याथी आव्यो छे? त्यारे तेणे कडुं- 'हे भगवन्! कहुं छु ते तमे सांथलो.