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हिन्दी अनुवाद
लक्ष्मी हाथी के बच्चे के कान की तरह चंचल है । मनुष्यों की आयु अनित्य
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है तथा जवानी को बुढापा अचानक ही ढीला करती है और प्राणिलोक में कुछ लोगों की यह जवानी इष्ट वियोग और अनिष्ट संयोगरूप दुःखों के कारण सैकड़ों रोगों से पीड़ित होती है।
गाहा
अइपरिमियम्मि चवले रोग-जरा- सोग- वाहि- पउरम्मि | जीवाण जोव्वणे एरिसम्मि को नाम पडिबंधो ? ।। ८४ ।। संस्कृत छाया
अतिपरिमिते चपले रोग - जरा शोक व्याधि - प्रचुरे । जीवानां यौवने ईदृशे को नाम प्रतिबन्धः ? ।। ८४ । ।
गुजराती अर्थ
रोग, घडपण, शोक अने व्याधिथी सभर एवा नानकडाने चंचळ यौवनमां जीवोने केवो राग ?
हिन्दी अनुवाद -
रोग, बुढ़ापा, शोक और व्याधि से भरपूर जीवों को ऐसे छोटे और चंचल यौवन में कैसा प्रेम ?
गाहा
विसया कुइ - निमित्तं उवभुत्ता तुच्छगा तहा तेवि । विरसा सइ अवसाणे, तेसु तओ को व पडिबंधो? ।। ८५ ॥ संस्कृत छाया
विषयाः
कुगतिनिमित्तमुपभुक्तास्तुच्छकास्तथा तेऽपि ।
विरसाः सदाऽवसाने तेषु ततः को वा प्रतिबन्धः ? ।। ८५ ।। गुजराती अर्थ
बिषयो दुर्गति माटे उपभोग कराया, ते विषयो पण तुच्छ छे, ते विषयो परिणामे स्वादहीन छे, तो पछी ते विषयो प्रत्ये राग केवो ?
हिन्दी अनुवाद
विषय जो दुर्गति के लिए उपभोग किए गए, वे विषय भी तुच्छ हैं । वे विषय परिणाम में ( अंत में) स्वादहीन हैं, तो फिर ऐसे विषयों के प्रति राग कैसा ?
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