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__ भारतीय दर्शन में तनाव-अवधारणा के विविध-रूप आयरो, लाडनूं, संवत् २०३६, पृ० १५. वही, पृ० ८. वही, पृ० ४२. वही, पृ० ३६. जैनेन्द्रसिद्धान्तकोश (भाग ३), पृ० २०६. कुछ भीतियाँ (फोबिया) जिनकी पहचान कर ली गई है, निम्नलिखित हैंAcro-Phobia- उच्चस्थान भीति Agora-Phobia- खुले स्थान की भीति, जिसे जैन दर्शन में अगुप्ति-भय कहा गया है। प्रतीकात्मक रूप से यह अनावृत हो जाने का भय है। Astra-Phobia- गरज-चमक का भय Claustro-Phobia- रक्त-भीति Hydro-Phobia- जल-भीति Noso-Phobia- रोग भीति, जिसे 'वेदना-भय' कहा गया है। इसे Patho-Phobia- भी कहते हैं। Phono-Phobia- स्वभाष-भीति Photo-Phobia- प्रकाश-भीति Tapho-Phobia- दाहकर्म भीति Thanats-Phobia- मृत्यु-भीति। इसकी पहचान भी जैन दर्शन में स्पष्टत: हुई है। Xeno-Phobia- विदेशी-भीति Zoo-Phobia- प्राणी भीति (या भूत-भीति)