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________________ ७० श्रमण/जनवरी-मार्च/१९९८ (नी) प्र० धर्मप्रभागणि (नी) रत्नसुंदरि (री) साध्वी प्रमुख सं०मोल्हा सं० डूंगर सा० मेला प्रमुख श्रावक श्राविका प्रभृति श्रीविधिसमुदायसहिताः श्रीआदिनाथ श्रीनेमिनाथौ प्रत्यहं प्रणमंति।। प्राप्ति स्थानविमलवसही, आबू जिनचन्द्रसूरि के द्वितीय शिष्य जिनसमुद्रसूरि द्वारा रचित न कोई कृति मिलती है और न ही किसी प्रतिमालेखादि में इनका प्रतिमाप्रतिष्ठापक के रूप में कोई उल्लेख ही है। इनके शिष्य जिनदेवसूरि हुए जिनसे वि०सं० १५६६/ई० स० १५१० में खरतरगच्छ की आद्यपक्षीयशाखा अस्तित्व में आयी।१५ पिप्पलकशाखा के मुनि धर्मचन्द्र ने वि०सं० १५१३/ई० सन् १४५७ में सिन्दूरप्रकरव्याख्या की रचना की।१६ कर्पूरमंजरीसट्टकटीका और स्वात्मसम्बोध भी इन्हीं की कृतियां हैं।१७ उक्त कृतियों की प्रशस्तियों में इन्होंने स्वयं को जिनसागरसूरि का शिष्य बतलाया है। पिप्पलकगच्छीय जिनसुन्दरसूरि (आचार्य पद वि० सं० १५११) द्वारा प्रतिष्ठापित दो सलेख प्रतिमायें मिली हैं। ये वि० सं० १५१५ और वि०सं० १५२५ की हैं। इन लेखों में प्रतिमाप्रतिष्ठापक आचार्य के गुरु-रूप में जिनसागरसूरि का नाम मिलता है। इनका मूलपाठ निम्नानुसार है : १- सं० १५१५ माघ सुदि १४ दिने ऊ०० जांगड़ा गोत्रे सा० काल्हा भार्या झवकू सुत सा० रूपाकेन सपरिवारेण श्री संभवनाथ बिंबं कारितं प्रतिष्ठितं श्री ष० (ख) ग० श्री जिनसागरसूरिपट्टे श्रीजिनसुन्दरसूरिभिः पूरनचंद नाहर- संपा०, जैनलेखसंग्रह, भाग-१, लेखांक ४८०. २- सं० १५२५ वर्षे वैशाख सुदि ७ दिने श्रीमालज्ञातौ घेउरीयागोत्रे सा० रामा पुत्र सा० रांजाकेन पुत्र घेता वील्हा कान्हायुतेन बृहत्पुत्र छाड़ा पुण्यार्थं श्रीसुविधिनाथविव (बिबं) कारितं प्रतिष्ठितं श्रीजिनसुन्दरसूरिभिः खरतर। मुनि कांतिसागर, शत्रुजयवैभव, लेखांक १८३. वि०सं० १५०४ फाल्गुन सुदि ९ के चार प्रतिमालेखों में प्रतिमाप्रतिष्ठापक शुभशीलगणि के गुरु के रूप में भी जिनसागरसूरि का नाम मिलता है। श्री पूरनचंद नाहर ने इन लेखों की वाचना दी है।१८ इन लेखों में प्रतिमाप्रतिष्ठापक मुनि की गुरु-परम्परा दी गयी है, जो इस प्रकार है:
SR No.525033
Book TitleSramana 1998 01
Original Sutra AuthorN/A
AuthorAshokkumar Singh, Shivprasad, Shreeprakash Pandey
PublisherParshvanath Vidhyashram Varanasi
Publication Year1998
Total Pages136
LanguageHindi
ClassificationMagazine, India_Sramana, & India
File Size10 MB
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