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________________ १२ ___ _५ . ८८ : Jain Education International १०५. १५१९ ज्येष्ठ वदि ६ बुधवार वियजधर्मसूरि, पूर्वोक्त, लेखाङ्क ३४१ १०६. १५१९ लोढ़ा, पूर्वोक्त,लेखाङ्क ३५ माघ वदि २ शनिबार विजयदेवसूरि के पट्टधर शालिभद्रसूरि मुनिसुन्दरसूरि के पट्टधर अमरचन्द्रसूरि उदयदेवसूरि के पट्टधर रत्नदेवसूरि " श्रमण/जनवरी-मार्च/१९९७ १०७. १५२० For Private & Personal Use Only वैशाख सुदि ५ गुरुवार विजयधर्मसूरि, पूर्वोक्त, लेखाङ्क ३५१ सुमतिनाथ की संभवनाथ देरासर, धातु-प्रतिमा का अमरेली लेख शीतलनाथ की वीरचैत्यान्तर्गत धातु की चौबीसी आदिनाथ चैत्य, प्रतिमा का लेख थराद नमिनाथ की नवखंडापार्श्वनाथ धातुप्रतिमा देरासर, घोघा का लेख श्रेयांसनाथ की बावन जिनालय, धातुप्रतिमा का लेख पेथापुर कुंथुनाथ की आदिनाथ जिना०, धातु की पंचतीर्थी जामनगर प्रतिमा का लेख कुंथुनाथ की आदिनाथ जिनालय, धातुप्रतिमा का लेख भायखला, मुम्बई १०८. १५२२ माघ सुदि १३ बुधवार माघ वदि १० गुरुवार बुद्धिसागर, पूर्वोक्त-भाग-१, लेखाङ्क ६९१ विजयधर्मसूरि, पूर्वोक्त, लेखाङ्क ३६९ १०९. १५२३ गुणदेवसूरि के पट्टधर चन्द्रप्रभसूरि धर्मसागरसूरि ११०. १५२३ वैशाख सुदि ९ www.jainelibrary.org कान्तिसागर, पूर्वोक्त, लेखाङ्क १९२
SR No.525029
Book TitleSramana 1997 01
Original Sutra AuthorN/A
AuthorAshok Kumar Singh
PublisherParshvanath Vidhyashram Varanasi
Publication Year1997
Total Pages130
LanguageHindi
ClassificationMagazine, India_Sramana, & India
File Size5 MB
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