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निःशुल्क प्रदान की जा रही
श्री सेवायतन द्वारा उपर्युक्त दोनों गाँवों में आर्ट ऑफ लिविंग के प्रवर्तक श्री रविशंकर जी के सहयोग से व्यक्तित्व-विकास-प्रशिक्षण शिविर लगाकर ग्रामवासियों में स्वावलम्बन की भावना जाग्रत करते हुए उन्हें सद्संस्कारों से संस्कारित कर नशामुक्त एवं शाकाहारी बनाने का प्रयत्न किया गया, जिसके परिणाम स्वरूप दोनों ग्राम के निवासी पूर्णतः नशामुक्त एवं शाकाहारी बन गये हैं। यह श्री सेवायतन की सर्वोत्तम उपलब्धि है। विकास प्रशिक्षण शिविर से प्रशिक्षित ग्रामीण युवक एवं युवतियाँ अपने-अपने गाँवों में नशामुक्ति, शाकाहार, साक्षरता एवं सफाई आदि का कार्य कर गाँवों का कायाकल्प कर रहे हैं।
पर्वत पर बसे लोगों को, जिनके वजह से पर्वत की पवित्रता नष्ट हो रही है, नीचे लाने के एिल वैकल्पिक रोजगार की व्यवस्था की गयी है, तथा पर्वत पर बसे भिक्षुओं को भी नीचे लाने के लिए प्रयास किया जा रहा है।
श्री शिखरजी के आस-पास में बसे गाँवों की सबसे बड़ी समस्या, बेरोजगारी और बेकारी की है, इसे दूर करने के लिए संत शिरोमणि प.पू. १०८ आचार्य श्री विद्यासागर जी महाराज की भावना एवं आशीर्वाद से प्रेरित प.पू. १०८ मुनि श्री प्रमाणसागर जी महाराज की प्रेरणा से श्री सेवायतन ने झारखण्ड सरकार के सहयोग से ग्रामवासियों को दुधारू गाय देकर उन्हें पशुपालन एवं दुग्ध उत्पादन के व्यवसाय से जोड़कर बेरोजगारी एवं बेकारी समाप्त करने की योजना बनाई है। झारखण्ड सरकार मधुवन में मिल्क चिलिंग प्लाण्ट स्थापित कर ग्रामवासियों से दूध लेकर प्लाण्ट के माध्यम से श्री सेवायतन ब्राण्ड दूध की आपूर्ति खुले बाजार में करेगी। इससे ग्रामवासियों को सुनिश्चित रोजगार मिलेगा और स्थानीय लोगों एवं यात्रियों को शुद्ध दूध । इस योजना से प्रति परिवार न्यूनतम १००/- प्रतिदिन की आय होगी। प्रथम चरण में ५०० नशामुक्त एवं शाकाहारी परिवार को झारखण्ड सरकार एवं श्री सेवायतन के सहयोग से दुधारू गायें प्रदान की जायेंगी। भविष्य में प.पू. १०८ आचार्य श्री विद्यासागर जी महाराज के भावना के अनुरूप श्री शिखरजी के आस पास के गाँवों को दुधारू गाय प्रदान कर । 'अमूल गाँव' की तरह परिवर्तित कर दिया जायेगा ।
26 मई 2008 जिनभाषित
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ग्रामवासियों को बेहतर चिकित्सा प्रदान करने हेतु श्री सेवायतन के माध्यम से यहाँ एक निःशुल्क होमियोपैथिक चिकित्सालय का शुभारम्भ श्री प्रकाशचन्द्र जी सेठी राँची वालों के सौजन्य से उनके पू. पिताजी स्व. कन्हैयालाल जी सेठी जशपुर निवासी के पुण्य स्मृति में किया गया। इस चिकित्सालय में कोरवा (छत्तीसगढ़) नगर के प्रसिद्ध चिकित्सक श्री एम.के. जैन ने जन कल्याणार्थ अपनी सेवा प्रदान करने का संकल्प प.पू. १०८ मुनि श्री प्रमाण सागर जी महाराज के चरणों में व्यक्त किया जिसकी लोगों ने भूरि-भूरि प्रशंसा की ।
श्री सेवायतन अपनी स्वास्थ्य सेवा योजना के अन्तर्गत यहाँ शीघ्र ही श्री गजराज जी जैन गंगवाल दिल्ली के सौजन्य से उनके पूज्य पिताजी स्व. पूनमचन्द्र जी गंगवाल झरिया की पुण्य स्मृति में पूनमचन्द्र कमलादेवी गंगवाल रोग जाँच केन्द्र (डायग्नोस्टिक सेण्टर) की स्थापना करने जा रहा है। जिससे गंभीर रोगों का निदान स्थानीय स्तर पर ही सुलभ हो जायेगा। श्री पूनमचन्द्र जी गंगवाल झरिया निवासी जैन समाज के प्रसिद्ध समाजसेवी, उदारमन, तीर्थभक्त एवं मुनिभक्त व्यक्तित्व के धनी थे । प्रसन्नता है उनके पुत्र भी उनके पदचिह्नों का अनुसरण करते हुए, समाज सेवा के कार्यक्रम में अग्रणी भूमिका निभा रहे हैं।
श्री सेवायतन ने शिक्षा के क्षेत्र में सुविधा प्रदान करने की दृष्टि से प्रत्येक स्कूल के बच्चों को २२ सेट पोशाकें निःशुल्क प्रदान करने की योजना बनायी है तथा मेघावी किन्तु आर्थिक दृष्टि कमजोर छात्रों को उच्च शिक्षा हेतु चयन कर उन्हें उच्च शिक्षा निःशुल्क प्रदान करने की योजना बना रहा है, जो शीघ्र ही क्रियान्वित किया जायेगा । १२०० छात्र - छात्राओं को निःशुल्क पोशाकें श्री संजय जी जैन (नोयडा) के सहयोग से दी जा रही हैं।
श्री सेवायतन द्वारा श्री शिखरजी में ग्रामीण विकास एवं मानव सेवा की दिशा में किया गया उपर्युक्त कार्य मात्र एक वर्ष की उपलब्धि है। इन कार्यों का यहाँ के ग्रामवासियों एवं बुद्धिजीवियों पर बड़ा सकारात्मक प्रभाव पड़ा है। स्थानीय लोगों के सोच में बदलाव आ रहा है। परन्तु इस दिशा में अभी बहुत काम करना है, जिसके लिए समस्त जैन जगत के सहयोग की अपेक्षा है। श्री सेवायतन की गतिविधियों के संचालन के लिए
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