________________ महावीर-वाणी भाग : 2 हैं। लेकिन जब तक वह कठिन न हो जाये, तब तक सब किया हआ व्यर्थ है। उससे कोई मोक्ष की तरफ नहीं जाता और नये जन्मों के बंधनों की तरफ उतर जाता है। पांच मिनट कीर्तन करें: फिर जायें। 530 Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org