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६५. अनेकार्थक शबदों के विभिन्न अथा की
जानकारी देना मद्देनजर रखते हुए उनका शाखाबध्द विभाजन करना आवश्यक है। तीन प्रकार के क्रमांक देने से यह साध्य हो सकता है - १. अरे बिक क्रमांक २. कैपिटल अक्षरों के क्रमांक ३. रोजन क्रमांक अधिक विभाजन दिगदर्शित करने के लिए गोल कोप्टक में रोमन क्रमांक दिये जाएँ। इसरो अधीक व्यापक पद ति का अवलंब
करना क्या आवश्यक है ? . ६६.. सबसे छोटे उपसमूह में अवतरण ऐतिहासिक
क्रम से दिये जाएँ, यह सझाव है । उपभोक्ताद्वारा अवतरणों के साथ अर्य यथास्थान देने में अधिक कठिनाई तो होगी, फिर भी उच्चस्तर पर देना क्या आप पसन्द करेगे ?
६७.. स्वीकृत स्पष्टीकरणों का समर्थन करने के
प्रयत्न किस हद तक किये जाएँ ?
६८.. स्वीकृत स्पष्टीकरणों के अलावा अन्य अर्थों
का अन्तभाव आवश्यक है क्या ?
भाषाशास्त्रीय स्पष्टीकरण चातकोनात्येक कोष्टक में एवं अन्य भाषा विरहित सन्दर्भ गोल कोष्टक में दिये जा रहे है। इसके लिए आप कोई अन्य तरी का सुझायरे १
उप भा पाएँ.
७०. उपभाषाओं का निर्देशन किस प्रकार किया
जाएँ ? प्राकृत वैयाकरण की प्राच्य शाखा की तरह अन्यान्य विभाषाओं के नामों का सूचन करें ? अपभशा की तथाकथित उपभाषाओं के बारे में क्या किया जाएँ १ ।
७१. अन्य भाषाओं के शब्दो रूपों में साधर्म्य हो
या भिन्नता हर एक भाषा के बारे में स्वतंत्र रूप से नोंध की जाए १.