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रात्रिभोजन के त्याग से लाभ
१. ये रात्री सर्बदाहार, वर्जयन्ति सुमेधस : ।
तषां पक्षोपबासस्य, फल मासेन जायत । जो रात्रि भोजन का लदा त्याग कर देते हैं, उनको महीने में पन्दन दिन के उपनाम का फल यी Fro 'ना है।
२. एक भक्ताजनान्नित्य-मग्निहोत्रफलां भवेत् ।
अनस्तभोजनो नित्य, तीर्थयात्राफ लभेत् । रात्रिभोजन का त्याग करने वाले को अग्निहोत्र का एवं तीर्थयात्रा का फल हमेशा मिलता रहता है ।