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________________ % ॥ लोकप्रकाचे बिनीयः सर्गः ॥ (मा. ५१) (१७) तेगी हरिवर्ष-रम्यक् सिख विशेषाधिक, तेथी निषध-नीलन सिद्ध संख्पानगुणा, तेषी धातकीखंडना चुल्लहिमत-शिखरिसिद्ध विशेषाधिक, तेथी धातकी महा हिपर्वत-स्क्मी सिर अने पुष्कराधना चुल्ल हिपवन-शिखरि सिद्ध ए चार संख्यासगुण है, परन्तु परस्पर तुल्प छे. तेथी घातकी खंडना निषध-नीलवंत सिद्ध अने पुस्कराधना महाहिमन-रुक्मि मिद्ध ए चारे संख्यातगुग, परन्तु परस्पर तुल्प, तेथी घातकी० हेमवंत-हिरण्यर्वन सिद्ध विशेषाधिक, तेथी पुष्कराधना निपर-नीलन मिद्ध संख्यातगुण, तेथी धातका देवकुरु-उत्तरकुरु मिद संख्यागुग, नेथी धान की हरिवर्ष-रम्यक सिद्ध विशेषाधिक, तेथी पुष्कराधना हिमवंत-हिरण्यवंत मिड संख्यामाण, तेथी पुराना उत्ताकु सिर संख्यातगुण, तेथी पुष्कगना इरिवर्परम्पक सिन्न विशेषाधिक, तेथी जंबूदोपना भरन-अरचत मिद्ध संख्यानगुण, वेषी धातकीना भरन--अरवत सिद्ध संख्यामगुण, तेथी पुष्कराधना भरत- अस्वन सिद्ध संख्यातगुण, तेथी जंबुद्धीपना महानिदेह सिद्ध संख्पातगुणा, तेथी धामको खंडना महाविदेह सिद्ध संख्यातगुणा, तेथी पुष्कराधना महाविदेह सिद्ध संख्यानगुणा. __ (काळथी अल्पयत्व)-अवसर्पिणीमां दुःषमदुःषम आरामां थयेला सिख सर्वधी अल्प, तेथी दुःपन आरामां ययेला संख्पानगुण, तेथी सुषप दुषम आरक सिद्ध असंख्यगुण, तेथी मुषमा आरक सिद्ध विशेषाधिक, तेयो सुषम सुपम आराना सिद्ध विशेषाधिक, तेथी दुःषम सुषम आराना सिड संख्यातगुण. [उत्स. पिंणीना ६ आरानुं अल्प बहुत्व पण ए प्रमाणे ज जाणवू.] [काळधी श्रेणिबद्ध अल्पयहुत्व-उत्सर्पिणी भवसर्पिणीना दुःपम दुःषम आरक सिड सर्वथी अल्प (परन्तु परस्पर तुल्य), तेथी उत्सर्षिणीना दुःषमारक सिव विशेषाधिक,तेथी असपिगीना दुःषमारक सिद्ध संख्यानगुण, तेथी उत्स० अवसाचा सुपम दुःषपारक मिड असंख्यगुण, तेथी उत्म० अवसाना मुपमारक सिद्ध. विशेषाधिक, तेथी उत्स० अवस०ना सुपपमुषमारक सिद्ध विशेषाधिक. ( संख्याहार)-अनेक सिद्ध घोडा एक सिद्ध संख्यानगुणा. (ज्ञानमार)-मतिश्रुत० ५, मतिश्रु० अव० १०८, मनिश्रुत० मनः०१० पतिथुन अव० मन: १०, सर्वांगे केवलज्ञान पामी सिद्ध थाय, (धारित्रद्वार) केवल ज्ञान पाम्या पूर्व सामायिकचारित्रवाळा १०८, सामा० • युक्त १०८, सामा• परि० १०, सा० ० ५० १०, सर्वभंगे सूक्ष्मसंपराय
SR No.090439
Book TitleLokprakash
Original Sutra AuthorVinayvijay
Author
PublisherSanghvi Seth Shri Nagindas Karamchand Ahmedabad
Publication Year
Total Pages629
LanguageHindi, Gujarati
ClassificationBook_Devnagari & Religion
File Size16 MB
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