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________________ हाता है विजिगीपू दषक कौमारवया अधम वत्ता व्यवहार / 373 पतनके पृष्ठ पंक्ति अशुस पृष्ठ पक्ति होता है 366 12 विगर्ग 381 11 365 दि० अदल दुर्बल 386 देवकस 366 टि० विमायोरमका: विज्ञायोत्मारः 3121 क्षम सेयर जितः सन्यजितः २५टि. फौमारययो 370 11 अनानो जानानो 36. दि. अध 370 16 कान वहाने 362 16 बेसा यर्मविजयी धर्मविजयी 318 दि० तत्र 364 29 पाहागय-समुरेश ३६६से 385 नाभ्यो नाधभ्या तथवाः नर्थवाः 407 टिक पी भदी 400 17 मानिनो श्राबुवाला माय वाली 4.6 16 सुवर्ण मामा मामाको 410 21 कुहीनता न विशेष 383 - सरभावति रममाववृत्ति 49. 3 प्रयोजन 383 यत्रागत्याथिनो गत्रात्यार्थिनो 413 म 3033 3 टि० प्रतिकूलका प्रतिकूलना 416 1. परप्रोयो 3.4 5 पम्प बावेष पष्टि पुष्टि असमर्थ मंत्राम नविभं मंत्राशनर्गव 421 4 भन्मूलन माधुपचरत माघपचरम 432 55 बुदिशक्ति यशोऽथं यशार्थी रिपोर्दधे 58. म्मेभ्याम्य मेयस्य . 423 टि. शत्रायदे 38 टि. तनो मनी 424 टि. स पसनक मानिना सुषमा वैरिपुः प्रविशेन पुयोजन मर्य परप्रणया दादेव असमय उमन्मन बांति पोषधे रात्राबरष्टे हि कुलीता
SR No.090304
Book TitleNitivakyamrut
Original Sutra AuthorSomdevsuri
AuthorSundarlal Shastri
PublisherGyansagar Vagarth Vimarsh Kendra Byavar
Publication Year
Total Pages454
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari, Literature, P000, & P045
File Size12 MB
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