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सूत्र १११०-१११२
तिर्यक् लोक नक्षत्र मण्डल की लम्बाई, चौड़ाई और परिधि
केवइयं परिक्लेवेणं ?
के
बाहल्ले पम्पले ?
उ०- गोयमा ! गाउयं आयाम विक्खंभेणं ।
णक्लत्त मण्डलस्स आयाम- विश्वंभ-परिक्खेव बाहल्ल नक्षत्र मण्डल की लम्बाई चौड़ाई, परिधि और मोटाई
११०. प०
-णक्खत्त मण्डले णं भंते ! केवइयं आयाम विक्खंभेणं ?
११०. प्र० -
-भगवन ! नक्षत्र मण्डल की लम्बाई चौड़ाई कितनी कही गई है ?
परिधि कितनी कही गई है ?
मोटाई कितनी कही गई है ?
तं तिगुणं सविसेसं परिणं । अगा बाहल्लेणं पयते ।
- जंबु० वक्ख० ७, सु० १४६ मंदरपव्यय!ओ अम्नंतर बाहिरणक्खत्त मंडलाणमंतरं
जंबुद्दीवे दीवे
- १११. ०णं भंते! भी मंदरस पव्ययस्स केवइआए अबाहाए सव्वभंतरे णक्खत्तमण्डले पण्णत्ते ? उ०- गोयमा ! चोयालीसं जोयणसहस्साइं अट्ठ य वीसे जोयणसए अबाहाए सव्वन्तरे णक्खत्तमण्डले पण्णत्ते ।
प०
- जंबुद्दीवे णं भंते ! दीवे मंदरस्स पव्वयस्स केवइयाए अबहाए सव्वबाहिरए णक्खत्तमण्डले पण्णत्ते ?
।
उ०- गोयमा ! पणयालीसं जोयणसहस्साइं तिष्णि य तीसे जो अवाहाए सवाहिरए पक्तमंडले पण - जंबु० वक्ख० ७, सु० १४६ सव्वभर बाहिर नक्सल मण्डलाण आयाम विश्वंभ परिक्लेवं
- ११२. ५० -- सव्वभंतरे णं भंते ! णक्खत्त मण्डले केवइयं आयामविक्खंभेणं ?
केवइयं परिक्खेवेण पण्णत्ते ?
उ०- गोयमा ! णवणउई जोयणसहस्साइं छच्च चत्ताले जोयणसए आयाम - विक्खभेणं ।
तिष्णि य जोयणसय सहस्साइं पण्णरस सहस्माई एगूणणवई च जोयणाई किचि विसेसाहिए परिक्खेवेणं पणते ।
आयाम-विसंमेणं?
१० चाहिए
गणितानुयोग
केवइयं परिक्खेवेणं पण्णत्ते ?
उ०- गोयमा ! एवं जोयणसय सहस्सं छच्च सट्ट े जोयणसए आयाम विक्खभेणं ।
तिष्णि जोपससस्साई अारस च सहस्वाई तिमि य पण्णरसुतरे जोगसए परिवखेवेणं पण्णले - जंबु० वक्ख ० ७ ० १४६
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उ०- गौतम ! नक्षत्र मण्डल की लम्बाई चौड़ाई एक गाउ की कही गई है ।
तिगुणी से कुछ अधिक की परिधि कही गई है। आधे गाउ की मोटाई कही गई है ।
मन्दर पर्वत से सर्वाभ्यन्तर और नक्षत्र मण्डल का अन्तर१११. प्र० भगवन्! जम्बूद्वीप नामक द्वीप में मन्दर पर्वत से - सर्वाभ्यन्तर नक्षत्र मण्डल का अन्तर कितना कहा गया है ?
उ०- गौतम ! जम्बूद्वीप नामक द्वीप में मन्दर पर्वत से सर्वाभ्यन्तर नक्षत्र मण्डल चम्मालीस हजार आठ सौ बीस योजन के अन्तर पर कहा गया है ।
प्र० - भगवन् ! जम्बुद्वीप नामक द्वीप में मन्दर पर्वत सर्व बाह्य नक्षत्र मण्डल का अन्तर कितना कहा गया है ?
उ०- गौतम ! जम्बुद्वीप नामक द्वीप में मन्दर पर्वत से सर्व नक्षत्र मण्डल पैतालीस हजार तीन सौ तौ योजन के तीस अन्तर पर कहा गया है । सर्वाभ्यन्तर और सर्वबाह्य नक्षत्र मण्डलों की लम्बाई चौड़ाई और परिधि
११२. प्र०. -भगवन् ! सर्वाभ्यन्तर नक्षत्र मण्डल की लम्बाईचौड़ाई कितनी कही गई है ?
परिधि कितनी कही गई है ?
उ०- गौतम ! सर्वाभ्यन्तर नक्षत्र मण्डल की लम्बाई चौडाई निन्यानवे हजार छ सौ चालीस योजन की कही गई है ।
तीन लाख पन्द्रह हजार नवासी योजन से कुछ अधिक की परिधि कही गई है ।
प्र० - भगवन् ! सर्वबाह्य नक्षत्र मण्डल की लम्बाई-चौड़ाई कितनी कही गई है?
परिधि कितनी कही गई है ?
उ०- गौतम ! सर्ववाल नक्षत्र मण्डल की लम्बाई-चौड़ाई एक लाख छ सौ साठ योजन की कही गई है ।
तीन लाख अठारह हजार तीन सौ पन्द्रह योजन की परिधि कही गई है।