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________________ ६९.७४ ] - सम्यक्त्वोत्पत्तिप्रकाशनम् - 702) ऐकान्तिकादिभिदया किल पञ्चधोक्तं तत्सप्तधापि कथितं भवतादनन्तम् । सर्वज्ञनाथमतदरितजीवभावे सर्वे पदा इव पदे करिणः प्रविष्टाः ॥ ७१ 703) नित्यो ऽनित्यो जडो वात्मा कर्ता ऽकर्ता गुणो गुणी। _एको ऽनेको जगद्वयापी सूक्ष्मो ऽकर्मा सकर्मकः ॥ ७२ 704) नान्यादृशं जगन्नित्यमेवंप्राया नृणां मतिः । सम्यक्षौदिमुपारूढा मतमैकान्तिकं जिनैः ॥ ७३ 705) ऊर्ध्वत्वमात्रमवलोक्य विशिष्टदेशे स्थाणोनरस्य खलु नीडजनीडमुख्यान । पाददिकानवयवानियतं विशेषात् संशेतं एव हि यथा पुरुषो विदूरात् ॥ ७४ कुटुम्बी और मित्र जैसा भी है ॥ ७० ॥ वह मिथ्यात्व ऐकान्तिक आदि- एकान्त, संशय, अज्ञान, व्युद्ग्राहित और विनयके भेद से पाँच प्रकार का अथवा सात प्रकारका कहा गया है। विशेष रूप से उसके अनन्त भेद भी हो सकते हैं । सर्वज्ञ के द्वारा निर्दिष्ट मत से जो जीवका परिणाम दूर-विमुख-रहता है उसका नाम मिथ्यात्व है। जिस प्रकार हाथी के पाँव में अन्य सब पाँव समाविष्ट होते हैं, उसी प्रकार उक्त स्वरूपवाले मिथ्यात्वके भीतर सब ही पद-- अतत्व श्रद्धान विशेष- प्रविष्ट होते हैं ।। ७१ ॥ आत्मा सर्वथा नित्य ही है, अनित्य ही है, जड ही है, कर्ता ही है, अकर्ता ही है, गुणरहित ही है, गुणी ही है, एक ही है, अनेक ही है, जगत् को व्याप्त करनेवाला- सर्वव्यापक ही है, सूक्ष्म ही है, अकर्मा -- पाप और पुण्य से रहित-ही है, अथवा सकर्मक- उन से सहितही है, इन से भिन्न स्वभाव वाला नहीं हैं, ऐसी जो प्रायः मनुष्यों को धृष्ट बुद्धि दुराग्रह से परिपूर्ण होती है उसे जिनेश्वरों ने ऐकान्तिक मिथ्यात्व कहा है ।। ७२-७३ ।। जिस प्रकार कोई मनुष्य, मनुष्य और लूंठ में समान रूप से पायी जानेवाली केवल ऊंचाई मात्र को दूर से देखकर विशेष रूप से मनुष्य के पाँव आदि अवयवों और लूंठ में अव ७१) 1 भेदेन. D नामान:. 2 मिथ्यात्वम. 3D यथा सर्वे पदा हस्तिनः पदमध्ये [प्रविष्टाः तथा • जिनम ] तमध्ये सर्वे कुमताः । ७३) 1 D नित्यमिथ्यादृष्ट. 2 D एकान्तेन । ७४) 1 PD खुण्टो वा पुरुषो 'वा. 2 नीडज पक्षी. 3 नीडजपक्षी गृहं घूसलं प्रभृतीन्. 4 संदेहं करोति ।
SR No.090136
Book TitleDharmaratnakar
Original Sutra AuthorN/A
AuthorJaysen, A N Upadhye
PublisherJain Sanskruti Samrakshak Sangh
Publication Year1974
Total Pages530
LanguageHindi, Sanskrit
ClassificationBook_Devnagari, Religion, & Principle
File Size38 MB
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