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द्विन्द्रिय, त्रीन्द्रिय, चतुन्द्रिय और पंचेन्द्रिय जीवों का प्रमाण
माना x = समस्त त्रस राशि = जगत्प्रतर : (प्रतरांगुल का असंख्यातवां भाग) और y = आवलि का असंख्यातवां भाग
x3 xxx तो द्विन्द्रिय जीवों की संख्या - -
-,-- -+ - ___4_y 4 2
1
। संख्या = (x--)
त्रीन्द्रिय जीवों की संख्या = --- (x-y) + ---- - -
16 4 16,
3 x x 13x चतुन्द्रिय जीवों की संख्या = (x - y) + - --
64 y 4 64y
1 x x 15x पंचेन्द्रिय जीवों की संख्या = -
-.- - - - - 4
64 x 4 64y उपरोक्त त्रस जीवों में पर्याप्तक जीवों का प्रमाण माना कि 2 = जगत्प्रतर : (प्रतरांगुल का संख्यातवां भाग) तो पर्याप्त द्वीन्द्रिय जीवों की संख्या = 2 +
|
OL
पर्याप्त त्रीन्द्रिय जीवों की संख्या - 6 पर्याप्त चतुन्यि जीवों की संख्या = 2. पर्याप्त पंचेन्द्रिय जीवों की संख्या = z_ 15Z
z
13z 64y
64y
अपर्याप्तक जीवों का प्रमाण-अपनी-अपनी राशि में से पर्याप्तों की राशि घटाने
पर जो राशि आवे, उतने प्रमाण ।
१.७१