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अनुयोगद्वारसूत्रे
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निः- निश्चयेन युक्ताः = मुत्रेण एकीभावेन संबद्धा अर्थास्तेषां युक्तिः = स्फुटरूपताः पादनम् - नियुक्तिः, 'युक्त' शब्दस्य निरुक्तविधिना कोषो द्रष्टव्यः । नामस्थापना: दिप्रकारैः सूत्रविभजनं तदर्थः, निर्युक्तिरूपोऽनुगमो व्याख्यानं नियुक्ते वऽनुगमो नियुक्स्पनुगमः । स च निक्षेप निर्यु क्त्यनुगमः, उपोद्घातनिर्यु क्त्यनुगमः, सूत्रस्पर्शक नियुक्त्यनुगमश्चेति त्रिविधः । दत्र - निक्षेप नियुवत्यनुनमः - निक्षेप := उत्तर -- (निज्जुत्तिअणुगमे) नियुक्ति में जो 'निः' है, उसका अर्थ- निश्चय से युक्त अर्थात् सूत्र के साथ एकीभाव से संबद्ध हुए अर्थों की युक्ति स्फुट करना- इसका नाम नियुक्ति है । निरुक्त विधि के अनुसार यहां युक्त शब्द का लोप हो गया है। इसका तात्पर्य यह निकलता है कि- 'नाम, स्थापना आदि प्रकारों द्वारा सूत्र का विभाग करना यह नियुक्ति शब्द का अर्थ है। निर्युक्तिरूप जो अनुगम व्याख्यान है- वह, अथवा निर्युक्ति का जो अनुगम है, वह नियुक्ति अनुगम है । यह निर्युक्ति अनुगम (लिविहे पण्णत्ते) तीन प्रकार का कहा गया है। (तं जहा ) वे उसके प्रकार ये हैं - (निक्खे बनिज्जुन्तिअणुन मे, उबग्घायनिज्जुन्तिअणुगमे, सफासि अनिज्जुभिणुग मे ) निक्षेप निर्युक्तिअनुगम, उपो द्धात नियुक्ति अनुगम, सूत्रस्पर्शक नियुक्तिअनुगम । (से किंत निक्लेवनिज्जुन्ति भणुग मे १) हे भदंत निक्षेपनियुक्तिअनुगम क्या है ?
भावी लय छे, भेटना भाटे अहीं तेनु पृथ उन अयु नथी. (से किं "तं निज्जुत्ति अणुगमे १) हे सहन्त ! नियुक्ति अनुगम शुद्ध छे ?
: उत्तर: -- निज्जुत्ति प्रणुगमे ) निर्युतिमां ने निः छे तेना अथ ‘નિશ્ચય’ છે. આ નિશ્ચયી યુકત એટલે કે સૂત્રની સાથે એકીભાવથી સ’ખદ્ધ' થયેલ મર્થીની યુક્તિ-સ્ફુટતા કરવી તેનુ નામ નિયુક્તિ છે. નિરુક્તવિષિ મુજબ અડ્ડી' યુક્ત શબ્દના લાપ થઇ ગયા છે. આનું તાત્પર્ય આ પ્રમાણે છે કે નામ સ્થાપના વગેરે પ્રકારો વડે સૂત્રના વિભાગ કરવેા આ નિયુક્તિ શબ્દને અથ છે. નિયુક્તિરૂપ . જે અનુગમ-ગ્રાખ્યાન છે; તે અથવા નિયુકિતના અનુગમ છે તે નિયુઍંકિત અનુગમ છે. આ નિયુકિત અનુગમ . (तिविहे पण्णत्ते) त्र प्रहारनो वामां आवे छे. (तं जहा) ते प्रअ भा પ્રમાણે છે (निक्खेव निज्जुत्ति अणुगमे, उवश्वायनिज्जुत्तिअणुगमे, सुत्तफाखिअनिज्जुत्तिअणुगमे ) निक्षेय निर्युडित अनुगम, (यो दूधत नियुठित अनुगम, सूत्रस्पर्श हैं नियुक्ति अनुगम (से किं त' निक्खेव निज्जुत्ति अनुगमे) हे महत- 1 નિક્ષેપ નિયુ ત અનુગમ શું છે ?