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नागरीप्रचारिणी पत्रिका वर्षों में उसने आगरा में सुंदर सुंदर महल, बावलियाँ, चश्मे, फव्वारे, वाटिकाएँ बनवाकर उसे काबुल हो की तरह सजा दिया था और लोगों के ऐसा कहने पर उसे बड़ी प्रसन्नता होती थी। प्रो० रश्ब्रुक विलियम्स ने बहुत ठोक लिखा है
"It is also significant of Babar's grasp of vital issues that from henceforth the centre of gravity of his power is shifted from Kabul to Hindustan. He recognised clearly that the greater must rule the less and that from the little kingdom of his former days, he could never hope to control the destinies of the new empire.२
(घ ) हुमायूँ के बदख्शा छोड़कर चले आने पर बाबर ने मीर खलीफा से बदख्शा जाने को कहा। यदि बाबर भी मीर खलीफा के साथ षड्यंत्र में था तो उसको यह अवश्य मालूम रहा होगा कि बिना खलीफा के षड़यंत्र में सफलता न होगी और इस कारण वह उससे कभी बदख्शाँ चले जाने को न कहता ! इससे बाबर का निर्दोष होना ही सिद्ध होता है। ____ इन कारणों से हम इस परिणाम पर पहुंचते हैं कि हुमायूँ के विरुद्ध कोई षड्यंत्र नहीं था और बाबर, माहम तथा खलीफा सभी निर्दोष थे।
(१) तुजुके-बाबरी, जि. ३, पृष्ठ ५३२ । ( २ ) ऐन ऐंपायर बिल्डर श्राफ दी सिक्स्टींथ सेंचुरी, पृष्ठ १५७ । ( ३ ) अकबरनामा, जि० १, पृष्ठ २७३ ।
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