________________
-
-
-
घंटाकरण-कल्प
चन्दन इस तरह शुद्धमान वस्तु को मिलाकर हवन क्रिया पूरी करे, और पुरुषाकार यंत्र की स्थापना हवन मंडप में अवश्य स्थापित करें।
॥ लक्ष्मी प्राप्ति यन्त्र ॥ यह यन्त्र पुरुषाकार बनता है, जो आगे बताया जायगा, इस तरह का यन्त्र ऊपर बताये हुए तीन विधानों में काम आता है, जिस मनुष्य को घंटाकर्ण देव का इष्ट हो उसे चाहिए, कि सोने का, चांदीका, तांबे का, अथवा सबंधातु का यन्त्र बनवा कर नित्य पूजा किया करे, अब साथ ही यन्त्र बनाने की तरकीब बता देते हैं । - एक पुरुषाकार चित्र बनाना उसके अवयव मान उपमान प्रमाण बनाकर उदर विभाग पर बारह कोठे का यंत्र बना कर उसमें अनुक्रम से यह अक्षर लिखना
॥ ॐ ह्रीं श्रीं क्लीं सर्वदुष्टनाशनेभ्यः ॥
ऊपर मुशाफिक बारह अक्षर लिखे बाद कंठ विभाग में "श्रीं नमः" लिखना, बायीं भुजा में "सर्वे ह्रीं नमः" लिखना और दाहिनी भुजा में "शत्रुनाशनेभ्यः नमः" दाहिने पांच में "1 नमः" लिखना वांये पांच में "हाँ ह्रीं हूँ नम:" लिख कर पुरूषाकार के आस पास घंटा
Shree Sudharmaswami Gyanbhandar-Umara, Surat
www.umaragyanbhandar.com