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( १९७ ) श्री महावीर जैन विद्यालय की बिल्डिंग के लिए लगभग दो लाख रुपये उन दोनों चौमासों में विद्यालयको मिले ।
विद्यालय का प्रवेश मुहूर्त भी हमारे समक्ष में भावनगर के दीवान साहिब सर प्रभाशंकर पटनी के हाथों से हुआ था।
इन दोनों चौमासों में १. दानवीर सेठ विठ्ठलदास ठाकुरदास २. दानवीर सेठ सर कीकाभाई प्रेमचंद (Knight) ३. बाबूसाहब श्रीयुत् जीवनलालजी पन्नालालजी ४. दानवीर सेठ देवकरण मूलजी आदि श्रावकोंने अच्छा लाभ उठाया।
इन दो चौमासों में श्री आत्मानन्द जैन गुरुकुल पंजाब को लगभग एक लाख रुपये की सहायता मिली । इसमें से ५१ हजार तो सिर्फ दानवीर सेठ विठ्ठलदास ठाकुरदासने ही दिये थे।
श्री आत्मानन्द जैनहाईस्कूल अम्बाला (पंजाब) की बिल्डिंग के लिए अठारह हजार रुपये उनको मिले । इन सब कार्यो में मुझे मेरे परमोपकारी आचार्य देव तथा परम स्नेही उपाध्यायजी महाराज प्रेरक थे । इस प्रकार अनेक ज्ञान, दर्शन और चारित्र के कार्यों को यथाशक्ति कर कराकर हमने गुजरात की ओर बिहार किया । १२ दिन तक प्रेमोद्यान, भाईखलांमें ठहर कर हम गुजरात की तरफ रवाना हुए।
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