________________ धंधे / (5) वाणिज्य :- (1) दंत वाणिज्यः- हाथी आदि की हत्या कर प्राप्त दांत, मोती, रेशम, पंख केश आदि / जहाँ उत्पन्न होते है वहाँ से उन्हें खरीद कर बेचने का धंधा / तथा माछीमारी, पोल्ट्रीफार्म, रेवीट खेती... आदि का व्यापार | (2) लाक्षावाणिज्यः- लाख, राल, कोयला, पटाखा, साबून, गुंदर, इंधन आदि का व्यापार / (3) रस वाणिज्यः- मांस, मदिरा, शहद, घी, तेल, कोडलीवर ओईल आदि स्निग्ध चिकनाहट वाले पदार्थों का व्यापार / (4) केशवाणिज्यःमनुष्य-पशु आदि के अंगोपांग, बाल, पीछा आदि का व्यापार (5) विष वाणिज्यः- संखिया संलल वच्छनाग, तेजाब, हेरोइन, D.D.T. ड्रग्स आदि का व्यापार | 5 सामान्य :- (1) यंत्र पीलन :- मूसल, चक्की यंत्र आदि से अनाज, बीज, कपास आदि कूटने, पीसने, दलने का धंधा, मिल, जीन, यांत्रिक कारखाना, घंटी आदि का व्यापार, (2) नित्छन कर्मःजीव के अंग काटने, अंकन करने, छेदने आदि का धंधा, (3) दवदान कर्मः- जंगल आदि जलाने, काटने का धंधा, (4) सरशोष कर्मःतालाव, कुवा आदि सुखाने का धंधा (5) असती पोषणः- दास, दासी, वेश्या, पशु-पक्षी आदि का पालन-पोषण करके इनसे दुराचार कराने का धंधा, या इन्हें बेचने का धंधा; तथा होटल, फिल्म, डीस्ट्रीब्युशन, थियेटर चलाना आदि से धनोपार्जन करने का धंधा / वेश्यादि को OR 22380