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________________ माँ सरस्वती ११० श्री सरस्वती साधना विभाग बुद्धि एवं स्मृतिवर्धक आयुर्वेदिक औषधी प्रयोग १) स्मृति बढाने हेतु यहाँ जो प्रयोग दिये है, वे अत्यंत सरल, सस्ते और स्वयं करने जैसे है। फिर भी जरुरत पर अनुभवी चिकित्सक से संपर्क करें। २) औषधी समय पर लेवे तथा साथ-साथ में परेजी (पत्थ्य) का भी उतना ही ख्याल रखें। ३) महाविगई होने से शहद (Honey/मध) वापरना अपने शास्त्र-द्रष्टि से संपूर्ण निषिद्ध है । अतः दवाइयों के साथ उसका प्रयोग त्याज्य है । शहद की जगह शक्कर की चासणी का उपयोग करें । औषधि १) ब्राह्मी चूर्ण : ब्राह्मी का पान - १ भाग + लीडीपीपर - १ भाग + आवला १ भाग + शक्कर - ४ भाग, इन चीजों को मिलाकर चूर्ण बनाइए. उसमें से प्रतिदिन सुबह पाव तोला चूर्ण तीन महिने तक लेके उपर से देशी गाय का दूध लेनेसे स्मृति-शक्ति तीव्र बनती है। २) ब्रह्मी गुटिकी : ब्राह्मी चूर्ण और शिलाजित सम प्रमाण लेके शक्कर की चासनी में मिलाकर छोटी-छोटी गोली बनाइए | उसे छांव मे सुखाकर प्रतिदिन सुबह और शाम एक-एक गोली वापरने से बुद्धि तेज बनती है। ३) त्रिफला चूर्ण : त्रिफला (याने हरडा, बहेडा और आमला का) चूर्ण पक्के नमक के साथ एक वर्ष तक नित्य लेने से बुद्धि एवं स्मृति में बहुत सुधार होता है। ४) ज्येष्ठिमध चूर्ण : ज्येष्ठिमध चूर्ण वंशलोचन के साथ लेने से स्मृति तेजस्वी बनती है। इसके अलावा-शंखावली चूर्ण, शतावरी चूर्ण, चंद्र प्रभावटी, सारस्वत चूर्ण, वचाचूर्ण, धात्री चूर्ण आदि का प्रयोग भी कर सकते है । ज्योतिष्मति तेल-मालकांगणी को संस्कृत में ज्योतिष्मति कहते है । इस तेल के १० बुंद पतासे पर डालना । फिर, पतासा खाकर गाय का दुध पीना । पानी अल्प वापरना । इस ज्योतिष्मति तेल का जो उपयोग करता है, वह प्रज्ञामूर्ति-कवीन्द्र बनता है । (इस तेल का पाव तोला से अधिक उपयोग न करें।)
SR No.032027
Book TitleSamyag Gyanopasna Evam Sarasvati Sadhna
Original Sutra AuthorN/A
AuthorHarshsagarsuri
PublisherDevendrabdhi Prakashan
Publication Year2007
Total Pages122
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size13 MB
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