________________ ( 161) विराजमान है। इसके बगल में नीचे एक उपासरा और इसके सामने दो मंजिली पक्की धर्मशालाएँ हैं / धर्मशाला में एक छोटा शानभंडार भी है / इसके अलावा पंचायती तीन उपासरे, और दो ओसवाल-पोरवाड़ों की धर्मशाला है। यहाँ एक श्रीशान्तिनाथजैनलायब्रेरी है, जो नवयुवकों के उत्साह से चलती है / गाँव में सरकारी स्कूल, पोस्ट ओफिस और पुस्तकालय भी है। यह गाँव चाणोद ठाकुर की जागीर में है / 142 बाबागाँव___ यहाँ जैन ओसवालों के 10, और पोरवाड़ों के 25 घर हैं / एक दो मंजिला अच्छा उपासरा, और एक गृह-मन्दिर है, जिसमें श्रीसंभवनाथजी की प्राचीन प्रतिमा विराजमान है। इसके अलावा दो पाषाण की, और दो सर्वधात की मूर्तियाँ हैं जो नवीन हैं / यहाँ से तीन मील के फासले पर 'दणों' नामक छोटा गाँव है जिसमें जैनों के 8 घर हैं, जो अति भावुक, श्रद्धालु और साधु साध्वियों की खूब सेवा करनेवाले हैं। छोटा गाँव होने से यहाँ जिनमन्दिर या उपासरा नहीं है। 143 पावा इस गाँव में पोरवाडों के 25 और श्रोसवालों के 10 घर और एक छोटी धर्मशाला है / यहाँ एक जूना सौधशिखरी जिनमंदिर है जिसमें श्रीशान्तिनाथजी की 1 / हाथ बड़ी मूर्ति बिराजमान है / यहाँ के जैन श्रद्धालु भक्तिवाले और सनातनत्रिस्तुतिक संप्रदाय के हैं। 11