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भम्
हस्
हास हासे . हसाव हसावे जाण जाण जाणे जाणाव जाणावे जाणवि बोल्ल् बोल्ल बोल्ले बोल्लाव बोल्लावे बोल्लवि
भाम भामे भमाव भमावे भमाड नेअ नेए नेआव नेआवे नेअवि होअ होए होआव होआवे होअवि
बोह बोहे बोहाव बोहावे बोहवि इस प्रकार धातुओं का प्रेरक अंग तैयार करके उसे उस-उस काल के पुरुषबोधक प्रत्यय लगाकर पूर्वानुसार रूप सिद्ध करना चाहिए । कार् - कार, कारे, कराव, करावे अंग के रूप
वर्तमानकाल [व्यअनान्त धातु] एकवचन
बहुवचन प्रथम कार - कारमि, कारामि, कारमो, कारामो, कारेमि
कारिमो, कारेमो कारे - कारेमि
कारेमो कराव - करावमि, करावामि, करावमो, करावामो, करावेमि
कराविमो, करावेमो करावे - करावेमि
करावेमो इस प्रकार मु-म प्रत्यय के रूप
भी समझना । द्वितीय| कार - कारसि, कारेसि कारह, कारेह कारे - कारेसि
कारेह कराव - करावसि - करावेसि करावह, करावेह करावे - करावेसि
करावेह इस प्रकार से प्रत्ययकार . कारसे
कारित्था, कारेइत्था कारे
कारेइत्था कराव • करावसे
_करावित्था, करावेइत्था करावे
करावेइत्था
पुरुष
पुरुष ।
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