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क्र.स.
भूमिका पुरोवाक् संक्षिप्ताक्षर
प्रथम अध्याय : काव्य सौन्दर्य
काव्य
काव्य लक्षण
काव्य भेद
सौन्दर्य
सौन्दर्य का क्षेत्र काव्य सौन्दर्य
विषयानुक्रमणी
धनपाल का समय
धनपाल की प्रतिभा
धनपाल का कृतित्व
। । । /
तृतीय अध्याय : तिलकमञ्जरी का कथासार ० तिलकमञ्जरी का कथासार
तिलकमञ्जरी के टीकाकार
पात्र
दिव्य पात्र
द्वितीय अध्याय : धनपाल : व्यक्तित्व एवं कृतित्व - 19-32
धनपाल का जीवन
चतुर्थ अध्याय : तिलकमञ्जरी के पात्रों का चारित्रिक सौन्दर्य
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पृष्ठ सं.
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ii
vii
xiii
1-17
33-65
67-102