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________________ २५६ ] [ जीवन-श्नेयस्कर-पाठमाला . पडिगाहेइ २त्ता काकंदीओ णयरीओ पडिणिक्खमइ २ त्ता जहा गोयने तहा पडिदंसेइ ॥ १४ ॥ तए ण से धरणे अणगारे, समणणं भगवया महावीरेण अब्भणुराणाए समाण अमुच्छिए जाव अणझोववन्ने बिलमिव पण्णगभूएणं अप्पाणणं आहारं आहारेइ २त्ता, संजमेण तवसा अप्पाण-भावेमाणे विहरइ ॥ १५ ॥ तए ण समणे भगवं महावीरे अराणया कयाइ काकंदीओ णयरीओ सहस्संबवणाओ उजाणाओ पडिणिक्ख Rइ २त्ता बहिया जणवयविहारं विहरइ ॥ १६॥ तए ण से धरणे अणगारे समणस्स भगवभो महावीरस्स तहारूवाणं थेराणं अंतिए सामाइयमाइयाइं एकारस अंगाई अहिजति २त्तासंजमेण तवसा अप्पाणं भावेमाणे विहरइ ॥१७॥ तए णं से धरणे अरणगारे तेणं ओरालेणं जहा खंदओ जाव सुहुयहुयासणे इव तेयसा जलते उवसोभेमाणे चिट्ठति ।। १८ ।। धन्नस्स णं अणगारस्स पायाणं अयमेयारूवे तवरूवलावराणे होत्था से जहानामए सुक्खछल्लीइ वा, · कट्टपाउयाइ वा, जरग्गओवाहणाइ वा, एवामेव धनस्स अणगारस्स पाया सुक्का भुक्खा लुक्ख। निमंसा अट्टिचम्प्रछिरत्ताए पन्नायंति, नो चेव णं मंससोणियत्ताए ।। १६ ॥ धन्नस्सण अणगारस्स प.यंगुलियाण अयमेयारूवे तवरूवलावण्णे होत्था से जहानामए कलसंगलियाइ वा मुग्गमाससंगलियाइ वा, तरुणिया छिण्णा उण्हे दिण्णा सुक्का समाणी मिलायमाणी मिलायमाणी चिटुंति, एवामेव धनस्स
SR No.022602
Book TitleJivan Shreyaskar Pathmala
Original Sutra AuthorN/A
AuthorKesharben Amrutlal Zaveri
PublisherKesharben Amrutlal Zaveri
Publication Year
Total Pages368
LanguageSanskrit
ClassificationBook_Devnagari
File Size19 MB
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