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• 'द्रव्य-1-पर्यायनो रास' तथा 'द्रव्यानुयोग५२।मश' व्यायाम विदा पहार्थोनी याही . 143 (सम्मतिकारसम्मत)| (II) दिगम्बरसम्मत
१०७-१०८, रूपान्तरपरिणाम नाश देखिए नाश
१६५०,१६५८ (सम्मतिकारसम्मत) (III) नागार्जुनसम्मत
१११ रोग (शारीरिक) ९९-१०० (IV) नैयायिकसम्मत
१०९ रोग देखिए दोष (आध्यात्मिक)
(V) पतंजलिसम्मत
११२ रौद्रध्यान
देखिए ध्यान (चतुर्विध) (VI) मीमांसकसम्मत ११०-१११ लक्षक देखिए शब्द
(VII) विशिष्टाद्वैतवादिसम्मत लक्षण
(VIII) वेदान्तिसम्मत
१११ (१) अंतरंग लक्षण १७०६ (Ix) वैशेषिकसम्मत
१०८ (२) अतीतत्व लक्षण
(X) श्वेताम्बरसम्मत
१००-१०३, (३) अनिवृत्तिकरण लक्षण २४२५
१६५८-१६५९ (४) अनुत्पन्नत्व लक्षण १२७१ (XI) सांख्यसम्मत
१०९ (५) अनुयोग लक्षण
७-११ (२३) चारित्र लक्षण २४७७,२५७६ (६) अन्वयित्व लक्षण १२१६-१८ (२४) तप लक्षण
२५७६-७७ (७) अपूर्वकरण लक्षण २४२५ (२५) त्रिलक्षण
११२२-११२८ (८) अर्थपदलक्षण ११०९ (२६) दुर्नय लक्षण
६०९-६१० (९) अर्थलक्षण
११०७ (२७) द्रव्य लक्षण ८९-९८,२१३,२३५, (१०) अवगाहना लक्षण
१४५९
१३७८,१३८८-१३९१ (११) आकाश लक्षण १४६९-१४७१ (1) दिगम्बरसम्मत १३८८-१३९० (१२) इच्छायोग लक्षण ७६, २३३२ (II) नैयायिकसम्मत
१३९१ (१३) उपयोग लक्षण १७००,२५७५ (III) पातञ्जलसम्मत
१३९० (१४) उपवास लक्षण २५७७ (IV) मीमांसकसम्मत
१३९० (१५) ऋजुसूत्रनय लक्षण ७७९-८१, ७८७ (V) लोकसम्मत
१३९१ (१६) एवम्भूतनय लक्षण ८०३ (VI) वेदांतिसम्मत
१३९० (१७) करण लक्षण २५३० (VII) वैयाकरणसम्मत
१३९१ (१८) कथंचित्परिणामित्व लक्षण ४७५ (VIII) वैशेषिकसम्मत
१३९१ (१९) केवलान्वयित्व लक्षण
पलान्वायत्व लक्षण . -- १२१५ (Ix) श्वेताम्बरसम्मत ८९-९७,२३५, (२०) गीत लक्षण २५९२
१३७८,१३८८-१३९० (२१) गीतार्थ लक्षण - ७३,२५९३-२५९४ (२८) द्रव्यत्व लक्षण
१६५४-५५ (1) स्वगीतार्थत्व लक्षण २४९० (२९) द्रव्यार्थिकनय लक्षण
६२८ (२२) गुण लक्षण १०१-१०३,१०७,११८- (३०) ध्यान लक्षण
२३८३ १२०,१८२-१८४,२३५ (३१) नय लक्षण
५३१,६०५-६१० (1) चरकसम्मत ११० (३२) नाशत्व लक्षण
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