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'द्रव्य - गुएा-पर्यायनो रास' तथा 'द्रव्यानुयोगपरामर्श' व्याप्यामां वएर्शवेला पछार्थोनी याही • 141
मूत्रौषधि लब्धि मूर्त्तता देखिए गुण प्रकार ( २ ) सामान्य गुण मूर्त्तत्व ( द्विविध)
८७३-८७४, १६३९, २०९४
२०५७ २०६०
२०५५-२०६०
(१) नैश्चयिक मूर्त्तत्व (२) व्यावहारिक मूर्त्तत्व मूर्त्तत्व देखिए गुण प्रकार ( १ ) विशेष गुण देखिए पर्याय (प्रकीर्णक)
मूर्त्त पर्याय मूर्त स्वभाव मूलनय प्रज्ञापना
देखिए स्वभाव (१) विशेष स्वभाव
देखिए
मूलनय सप्तभङ्गी
मूलसामान्य प्रकार
प्रकार
मूल सामान्य संग्रहनय देखिए नय ( नवविध) संग्रहनय (देवचन्द्रजी) (A) सामान्यसंग्रहनय
मोक्ष (अपवर्ग)
७३६
मोक्ष पुरुषार्थ
देखिए पुरुषार्थ
मोक्षमार्ग
(१) औत्सर्गिक २२९२-२२९३,२३४०-२३४२
(२) आपवादिक
२२९५, २३३६
२४०८-०९
मोक्षशास्त्र वचन
मोहगर्भ वैराग्य
मोहमाहात्म्य
मौन
देखिए लब्धि ( योगफल ) यम
मोक्षार्थशास्त्रतात्पर्य बोध देखिए ज्ञान
देखिए
देखिए
यतनावरण कर्म
यथाछंद
यथाप्रवृत्त करण
यम
देखिए
( १ ) उत्तम मौन ( तात्त्विक)
(२) कायिक मौन
(३) वाचिक मौन
(४) मानसिक मौन
प्रज्ञापना
सप्तभङ्गी
देखिए
देखिए
देखिए
( + उपयोग + बोध)
वैराग्य
२४८०
२५३५, २५३७
२५३४
२५३४-३५
२५३५
२४६२
वर्ण्य साधु
करण
योग (अष्टांग)
(१) इच्छायम
(२) प्रवृत्तियम
(३) स्थिरयम
(४) सिद्धियम
यातायात चित्त
यादृच्छिकी लक्षण
युगपदुपयोगद्वयवाद युगपद्भावी पर्याय
युगपद् वृत्तिद्वय युगपद्वृत्तिप्रवृत्ति योग (अवशिष्ट)
योग (अष्टांग)
देखिए
देखिए
देखिए
देखिए
( १ ) अनालम्बन योग
(२) अनाश्रव योग
(३) अमनस्क योग
(४) क्रियायोग
(५) ज्ञानयोग
(६) द्रव्ययोग
(७) निरनुबंध योग
(८) भावयोग
(९) सानुबंध योग
(१०) सालंबन योग (११) साश्रव योग
(१) आसन
(२) धारणा
(३) ध्यान
(४) नियम
(५) प्राणायाम
(६) प्रत्याहार
(७) यम
(८) समाधि
२४२४
२४२४
२४६०
२४७१
चित्त
लक्षण (सामान्यतः )
वाद
पर्याय (श्वेताम्बर)
देखिए वृत्तिप्रवृत्ति
५७३ - ५७४, ५७८
२३७९,२४५८, २५७९
२४७३, २५७९
२४६६
२३७६, २४८६
२४६६,२४८३-८४, २५४०
२४७५
२४८३
२४३५, २४७५
२४६३
२४५८
२४७३
२४१३
२४४३, २४६२
२४६२
२४०७
२४६२
२४३४, २४६२,२४७७
२४०७
२४७०