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पावपयडी उ नेया एस विभागो उ पुण्णपावाणं । पुव्वभणिओ वि अत्थो पसंगओ किंचि वृत्तो ति संपइ आवरणाई गाहाएणुभागट्ठाणया भणइ | तर्हि नाणावरणेसुं देसघाईसरूवेसु
केवलवज्जा चउरो नाणे नाणम्मि दंसणा तिण्णि । चक्खु अचक्खुओही एयाणी सघाईणि
पण अंतरायसंजलणचउगपुरिसं च ईइ सत्तरसा । चविभावपरिणया इयपयस्सेस भावत्थो इह हुतेगरसाई चउरसा सत्तरसेव पयडीओ । सेसा सुहासुहाओ तिपरिणया इगर मोत्तुं अह हेऊकारणनाम लक्खिया पच्चयपरूवणया । भणइ चउपच्चयाई गाहाए तत्थ किल एगं सायं चउपच्चइयं मिच्छाविरईकसायजोगेहिं । ऊहि बज्झइ इह जइ भणियं तह वि एसत्थो सायं मिच्छट्टिी बंधई मिच्छपच्चयं चेव । होइ तहिं च किर अविरयाईया ऊण तियगं पि तत्थत्थि केवलं इह मिच्छत्तंऽतरगयत्तणानेव । एत्थं विवक्खिया एवमुत्तरत्था वि नायव्वा तह मिच्छअभावे विहु अविरइमंतेसु सासणासु । सायं जेण निबज्झइ तो अविरयपच्चयं भणियं एत्थवि उवरिमजोग - पच्चयजुयलं तु गोणवित्तीए । गणय तह मिच्छत्तअविरइभावा सजोगेसु सकसाएसु पमत्ताईसुं सुहुमंतएसु ठाणेसुं । बज्झइ कसायहेऊ इहइंपि हु जोगहेऊजो
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