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9999900900999999999999999999999900 आ पुस्तक प्रकाशित करवा माटे पूज्यपाद आचार्य श्रीविजयनीतिसूरीश्वरजी महाराज तथा पन्यास दानविजयजी गणीना सदुपदेशथी खेरालुनिवासी स्वर्गस्थ शेठ रवचंद मंगळजीना तरफथी मेता. कचरा भाइ मोहोकमचंद तथा पटवा पोपटलाल वाडीलाल तेमना ट्रस्टीओए विलमांची आर्थिक सहाय आपीछे ते बदल तेमने धन्यवाद घटे छे.
इदं पुस्तकं राजनगर ( अमदावाद )स्थ जैन एडवोकेट यन्त्रालये ( घीकांटा वाडी ) चमनलाल गोकलदासेन मुद्रितम
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