________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobairm.org Acharya Shri Kailassagarsur Gyanmandir अथ शुक्रपूजनयन्त्रम्. पू० ख०१ मित Vतर. 11 40 0 शाक्षरशुक्रमंत्रप्रयोगः // अथ शुक्रस्तोत्रप्रारंभः // नमस्ते भार्गवश्रेष्ठ देव दानवपूजित॥वृष्टिराधप्रकर्ड च वृष्टिकर्त्रे नमोनमः॥१॥ देवयानीपितस्तायं वेदवेदांगपारग // परेण तपसा शुद्ध शंकरो लोकशंकरम् // 2 // प्राप्तो विद्या जीवनाख्यां तस्मै शुक्रात्मने नमः // नमस्तस्मै भगवते भृगुपुत्राय बधसे // 3 // तारामण्डलमध्यस्थ स्वभासा भासिताम्बर // यस्योदये जगत्सर्व मंगलाह भवेदिह // 4 // अस्तं याते परिष्टं स्यात्तस्मै मंगलरूपि // त्रिपुरावासिनो दैत्यान् शिवबाणप्रपीडितान् // 5 // विद्यया जीवय |च्छुक्रो नमस्ते भृगुनन्दन // ययातिगुरवे तुल्यं नमस्ते कविनंदन // 6 // बलिराज्यपदो जीवस्तस्मै जीवात्मने नमः // भार्गवाय नमस्तुभ्यं पूर्व गी वणवंदित॥७॥जीवपुत्राय यो विद्या प्रादात्तस्मै नमोनमः ॥नमः शुक्राय काव्याय भुगपुत्राय धीमहि॥८॥नमः कारणरूपाय नमस्ते कारणात्मने। स्तवराजमिदं पुण्यं भार्गवस्य महात्मनः॥९॥ यः पठेच्छ्रणयाद्वापि लभते वांछित फलम्॥पुत्रकामो लोत्पुत्रान श्रीकामो लभते श्रियम्॥१०॥राज्य Vॐवलंमद // 30 // For Private And Personal Use Only