________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobalrm.org Acharya Shri Kalassagarsuri Gyanmandir नमः // 25 // ॐ पं पञ्चाशद्वर्णाढ्यकर्णिकाभ्यो नमः // 26 // ॐ अं अर्कमंडलाय द्वादशकलात्मने नमः // 27 // ॐ सों सोममण्डलाय पोडशकलात्मने नमः // 28 // ॐ वं वह्निमण्डलाय दशकलात्मने नमः // 20 // ॐ सं सत्त्वाय नमः // 30 // ॐ रं रजसे नमः // 31 // ॐ तं तमसे नमः // 32 // ॐ आं आत्मने नमः // 33 // ॐ पं परमात्मने नमः // 34 // ॐ अं अंतरात्मने नमः // 35 // ॐ ह्रीं ज्ञानात्मने नमः / / 36 // ॐ मं मायातत्त्वाय नमः // 37 ॐ के कलातत्त्वाय नमः // 38 // || ॐ वि विद्यातत्त्वाय नमः // 39 // ॐ पं परतत्त्वाय नमः // 40 // इति मण्डूकादिपरतत्त्वांतपीठदेवताः संपूज्य प्रयोगोतनवपीठश तीः पूजयेत् / ततः स्वर्णादिनिर्मितं यंत्रं मूर्ति वा ताम्रपाने निधाय धृतेनात्यज्य तदुपरि दुग्धधारां जलधारां च दत्त्वा स्वच्छवस्त्रेण संशोष्य आसनमंत्रण पुष्पाद्यासनं दत्त्वा पीठमध्ये संस्थाप्य प्राणप्रतिष्ठां च कर्यात् / तद्यथा / देशकालो संकीर्त्य मम महादेवनूतनयंत्रे मृतॊ वा प्राणप्रतिष्ठां करिष्ये / इति संकल्प्य प्रतिष्ठां कर्यात् / अस्य श्रीप्राणप्रतिष्ठामंत्रस्य ब्रह्मविष्णुमहेश्वरा ऋषयः / ऋग्यजुःसामानि च्छन्दांसि / क्रियामयवपुःप्राणाख्या देवताः। आं बीजम् / ह्रीं शक्तिः। कौं कीलकम् / अस्य नूतनयंत्रे मृतौ वा प्राणप्रतिष्ठापने विनि / योगः / इति जलं क्षिपेत् / ततः करणाच्छाद्य ॐ आं ह्रीं क्रौं पॅरलॅवशसहसः सोहँ अस्य महादेवसपरिवारयंत्रस्य प्राणा इह प्राणाः। पुनः ॐ आह्रींकायरलॅवषसँहँसः सोहँ अस्य महादेवसपारवारयंत्रस्य जीव इह स्थितः / पुनः ॐ आंह्रींकायरलँबशेषसहसः सोहँ अस्य महादेवसपरिवारयंत्रस्य सर्वेन्द्रियाणि इह स्थितानि / पुनः ॐ ह्रींक्रौपॅरलॅवशेषसहसः सोहँ अस्य महादेवसपरिवारयंत्रस्य वाङ्मनस्त्वक्चक्षुःश्रोत्रजिह्वाघाणपाणिपादपायूपस्थानि इहैवागत्य सुखं चिरं तिष्ठतु नमः स्वाहा / इति प्राणान् प्रतिष्ठाप्य यः प्राणतो For Private And Personal Use Only