________________
एण्य
एल्युमिनियम् नेफ्थाल सल्फोरेट १७४२ एल्युमीनियम्-नेफ्थाल-सल्फोरेट-[अं॰ alumini- | एवर्ड युपाइज-[अं॰ avoirdu pois ] स्थूल एवं
um na phthol-sulphorate ] एक शुष्क वस्तुओं के तौलने को एक प्रकार की ___ प्रकार का श्वेत वर्ण का चूर्ण । दे. "फिटकिरी”। माप । एल्युमीनियम्-सलिकेट-[ अं० aluminium- एवापोरेशन-[ अं० evaporation ] (१) silicate ] दे० 'केप्रोलीनम्"।
वाष्पीकरण । (२) वाप्पी भवन । 'एल्युसीन-कोरोकेना-[ले. eleusine-coroca-एवं-अव्य० [सं०] (१) बराबर । साम्य । (२)
na, Gertn.] मड् श्रा-धान । मँडुआ। ऐसे ही । सादृश्य । मकड़ा।
एवेक्कण्ट्स -[अं॰ evacuants ] शोधन । मुफएल्युसीनी-इण्डिका-[ ले० eleusine indica, रिंगात ।।
Gaertn.] किंझोर । गधा-उ०प० भा० । एवोडियाम क्सिनि-फोलिया- ले. evodia'एल्युसीनी-ईजिपटिका-[ ले• eleusine-aegy. ___fraxini-folia ] एक प्रकार का पौधा, ptica, Pers.] मकरा । मकरी।
जिसका फल-कोष तुम्बुरु तुल्य होता है। एल्युसीनी-फ्लेगेलीफेरा-[ ले० eleusine flag. एवाल्व्युलस-अल्सिनाइडिज-[ ले० evolvu. ___ellifera, Nees. ] गुटुब-उ०प० भा० ।
lus-alsinoides, Linn.) विष्णुगन्धि । एल्ल-[ मल० ] हड्डी । अस्थि ।
शंखपुष्पी। एल्ल-इम्बुल-[सिं०] पोलो कपास। इसके गोंद को
| एशा(शिया) टिक ग्रेविया-[ ले० fasiatic. कतीरा कहते हैं।
grevia] फालसा । परुषक। पल्ल-एरिए-[सिं०] दुग्ध । दूध ।
एशा(शिया)टिक बार्बेरी- ले. asiaticएल्लु-[ ता०] तिल । तिल्ली । कुजद ।
___barberry ] एक प्रकार की दारुहल्दी जो एल्लेना-[ कना० ] तिल । तिल्ली । कुजद ।।
___ गढ़वाल से हज़ारा तक.अधिकता के साथ होती है । एल्व-संज्ञा पु० [सं० वी० ] एलबालुक । सु० चि०
एशोपगोल-[40] इसबगोल । १६ अ०। एल्वा-[द०] एलुवा । मुसब्बर ।
एषण-संज्ञा पुं॰ [सं० पु.] (१) शल्लको वृक्ष । एल्वालु-संज्ञा पुं॰ [सं० की.] )
वै० निघ० । (२) लोहनिर्मित वाण । तीर। एल्वबालुक-संज्ञा पुं० [सं० वी०] एलबालुक।
(३) अन्वेषण । खोज । (४) इच्छा । (५) एल्ववालुक-संज्ञा पुं॰ [सं० की.] )
खुरचने की क्रिया।
एषणिका-संज्ञा स्त्री० [सं० स्त्री० (१) सोना आदि एल्वबाल्वाल-संज्ञा पुं॰ [सं०] एलबालुक।
तौलने का काँटा । तुला । श्रम । (२) नश्तर । एल्शाटजियो-पॉलिष्टका-[ ले०] मेंहदी ।
व्रण खुरचने का सलाका । एल्शीनीज-) एल्शनीज- कलौंजी । मैंगरैला। उपकुञ्चिका । एपणी-संज्ञा स्त्री० [सं० स्त्री० ] एक प्रकार का नश्तर एल्शोनीज़-)
(सलाका )। इसका मुख केचुवे के मुख जैसा 'एल्साबनियः-[अ०] साबुनी बूटी। (sapona . होता है । इस अस्त्र को व्रण के मध्य में लगाकर ___ria-vaccaria.)
पूयादि स्राव कराया जाता है । सु०। एल्हब्बेतु-ल्तिज़ा-[१०] मगरइल । उपकुञ्चिका ।। [२] सोना आदि तौलने की तुला (तराजू)। एल्हब्बतुस्सौदा-[अ० ] उपकुञ्चिका। मगरइल । एषणीय-वि० [सं० त्रि०] विश्राव्य । नश्तर देने एल्हागु- मिश्र० ] [ अ० अल्हाजु ] दुरालभा । योग्य । खारे शुतर।
एषिका-संज्ञा स्त्री० [सं० स्त्री.] खस । उशीर । च. एल्हेगलिग मिश्र०] इङ्गदी। हिंगोट । हिंगुवा । चि० ३ ० । अगरादि तैल । एवन-[फा०] चोबचीनी ।
एष्य-वि० [सं० वि०] वांछनीय । चाहने योग्य ।