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मनस
अनशम
अनस a bras-१० श्वित्र रोगी, श्वेत कुष्ठ का | अवता abhi ta-सिं० दर्मनह, (जौहरी जवाइन),
रोगी, चितक-एरा । ल्युकोढर्मिक ( Leucori शीह, अफसन्तीनुल बहर । (Artoonisia. dermie.)-इं०।
maritima, Linn. ) अबस abyas-यु० गुले सौसन। Sec-sou- ' अन द ahruda फा० सुम्बुल । (Hyacin. san.
thus Orientalis. ) अ(प)बस प्रीकेटोरिस a brus precato- अन न ayran-यु० सदाबहार (हयुल पालम)।
rius-ले० गुञ्जा-सं०। धुंघची, रत्ती, गुना अन्न नास ३abrānāsa--य. अस, यरवाको । -हिं० | Indian liquorico-६० ! (An unimportant plant ). ई. मे० मे० । फा० ० १ भा०।
1 92 at kabrúní-eter II ( Asphodelus अब्रह्मचर्यकम् abrahma-charyyakam fistulosus, Linu.)
-सं० क्ली० मैथुन । क्वाइशन ( Coition), अन युन abriyāma--यु० छड़ीला (उश्नह)।
कप्युलेशन (copulation). ई० । त्रिक } ! (Vardostachys jatamansi), अनाज़ abraza-शामी.) सूरिजान को घास | ,
अन स aabrisa--यु० बरवाको । ( An पश्चिमी भाषा में सदाबहार को कहते हैं।
inimportant plant.) अब्रिक एसिड abric-acid-ई० गुञ्जाल । | अन घर abre-ambara-ह. संज्ञा पु.
डाक्टर वार्डेन ( Dr. warden) महोदय : दे० अम्बर । ने गुलाबीज द्वारा इसे पृथक् किया था । | अमेज़ abreza--१० शुद्ध स्वर्ण, खालिस सोना । उनके मतानुसार इस तेजाब का फ्रॉम्युला (Pure gold.) ( रासायनिक सूत्र ) इस प्रकार है, प्रदेशम abresham-फा०, अ. श्राबरेशम, यथा-( क२१ उद २४नत्र ४)। इसमें ! ___ क्रम, प्रवरेसम । कोषकारजम्, क.पा (रेशम); कोई प्रभाव नहीं ( inert ) होता है। फॉ० कोपकार, कोशकृत् (रेशमकीट); कौशे ()य ई०१ भा०।
( रेशमी अर्थात् कोषोत्थवस्त्र )-सं० । अग्निन abrin. ई. एक प्रोटीड अवयव जो गुजा रेशम-हिं० । पट -बं० । बाम्बिस मोराइ
श्रीज में वर्तमान रहता है । और गुजा के समस्त ( Bombys Mori )--ले । सिल्क पॉड इन्द्रिय व्यापारिक गुणधर्म रखता है। फॉ० (Silk-pol ), रॉ सिल्क कोकून ( Raw इं० १ भा० । यह गुजा का मुख्य प्रभावात्मक silk cocoon ), fa# ##** Silkअंश है।
wornm moth, सिल्क Silk-इं.। सेरकोस अभिय्यह. abriyyah-१० इद्रिस्यह, श्रुशंस, serikos-जर० । रेशम की कीडी-द० । रेशम
हजाज़ । सबूसहे सर-फा० | सर की वफा , ना-पोटन-बम्ब०, गु० । पटलू-पुची-ता०मह । सर की भूसी-3.।
पुडुपुरुग, नर-पुट्टियो-ते। रेशमी-हुल-कना। सीबोरिश्रा (Se borrhea, ', स्कर्फ रेशी-चि कीड-मह०, को० । (Searf), डैण्ड फ ( Dandruff ),
अमरेशम वस्तुतः एक कीड़े का घर है, जिसको फ्रफर ( Furfur )-201
वह अपने मुख के लार द्वारा अपने ऊपर बनाता अत्री aabri- १० ओर का वृक्ष जो नहरों के किनारे
है। यह कीट शहतूत के वृक्षों पर उनके पत्रों को उगता है।
खाकर अपना जीवन निर्वाह करता है। वह कीटजो अनीमून abriimuna--50 ईरसा, पुष्करमूल ।
बदरी (बर)वृक्ष पर लगाया जाता है उसको लेटिन (Orris root.)
में बॉम्बिस माईलेटा (Bombys myle. प्रमज abruja-अ० राग ।
tta) कहते हैं। रेशम का कोना (रेशम
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