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श्रावक भीमसिंह माणेक. २५३ अष्टाध्यायी सूत्रपाठ,गणपाठ, धातुपाठ, लिङ्गा
नुशासनपाठ. ( पाठचतुष्टय) २५४ सारस्वतचन्द्रकीर्तिटीकास पूर्वार्ध-इस टीका
में सूत्रोंकी प्रतीक देकर प्रयोग साधनेकी प्रक्रिया लिखी है. यह सरल होनेके कारण विद्यार्थियोंके घडे
कामकी है. गलेज कागळ. २५५संस्कृतशिक्षामञ्जरी प्रथमो भागः (संस्कृत सीख
नेका सरल उपाय.) २५६ संस्कृतशिक्षामञ्जरी द्वितीयो भागः २५७ संस्कृतप्रवेशिनी-संस्कृत भाषामें बातचीत कर
नेका सहज उपाय- २५८संस्कृतबालबोधिनी-संस्कृत भाषाका बहुत शीघ्र
ज्ञान प्राप्त होकर पूर्ण व्युत्पत्ति प्राप्त करनेका साधन. यह पुस्तक संस्कृत सीखनेवालोंके लिये बहुत ही उपयोगी है. अमारी पासे मारवाडी भाषाना जे ख्याल
__ वेचाय छे तेनी यादी. २५९रिसालूनोपदेको ख्याल.
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