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III. 4 Malasatras
427
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"746
, 189.
... 749
, "
(1) लघुक्षेत्रसमास
foll. I05 to 108'. (2) पिण्डविशुद्धि No. 413
, I08° ,, III'. (3) श्रावकवक्तव्यता
, III , II (4) पञ्चलिङ्गीप्रकरण
H4° ,, 117'. (5) शीलोपदेशमाला (6) वीतरागस्तोत्र
__,, 138 ,, I42. (7) प्रणिपातसूत्र
,, 884_fol. 189. (8) ईपिथिकीसूत्र
,790 (9) उत्तरीकरणसूत्र
,,796 (10) कायोत्सर्गसूत्र ,,800 (II) नामस्तव
814 (12) चैत्यस्तवप्रतीक ,,826 , , (13) प्रबोधचैत्यवन्दन
, 1894 ,, 1890] (14) 'दर्शनं देवादि स्तव (15) घरकनकसूत्र (16) तीर्थवन्दनसूत्र (17) शक्रस्तव
,753 (18) चैत्यस्तव
821 (19) कायोत्सर्गसूत्रप्रतीक
,, 813 (20) श्रुतस्तव
foll. 189° ,, 190* (21) श्रुतस्य भगवतः
fol. 190*. (22) सिद्धस्तव (23) वैयावृत्त्यकरसूत्र (24) कायोत्सर्गसूत्रप्रतीक
25) संसारदावानलस्तुति (26) जावंति चेइयाई (27) जावंत के वि साहू ,,763 (28) नमोऽहत्
,,897 (29) उपसर्गहरस्तोत्र
,769 (30) प्रार्थनासूत्र
,,786 (31) वन्दनकसूत्र
,853 (32) देवसिकालोचनासूत्र (33) सव्वस्स वि (34) गुरुक्षामणासूत्र ,, 867 , , (35) एकाशनादिप्रत्याख्यान , 937 foll. 19ob ,, I9". (36) आचाम्लप्रत्याख्यान , 950 fol. I9r. (37) विविधाहारोपवासप्रत्याख्यान , 934 - " " -
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