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अभिधानचिन्तामणिनाममाला
शब्द / लिंग / श्लोक / अर्थ अम्बूकृत न. २६७ थूक उडे तेवुं वचन अम्ब्ल पुं. १३८८ (शि. १२६) खाटो रस अम्भस् न. १०६९ पाणी अम्भःसू पुं ११०४ धूमाडो अम्ल पुं १३८८ खाटो रस
अम्लवेतस पुं ४१७ आंबली, कोकम : अम्लिका स्त्री ११४३ आंबलीनुं वृक्ष 'अम्ब्लिका' स्त्री ११४३ आंबलीनुं वृक्ष अय पुं १३७९ सारुं नसीब अयःकण्टकसंच्छन्ना स्त्री ७८७ (शे. १५०) महाशिला, शस्त्र विशेष, मोटी तोप अयः प्रतिमा स्त्री १४६४ लोढानी प्रतिमा अयन न. १५८ शिशिर वगेरे त्रण त्रण ऋतुनुं अयन
अयन न. ९८३ मार्ग
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अयन्त्रित न. १४६६ अंकुश रहित अयस् न. १०३८ लोढुं अयाचित न. ८६६ मांग्या विना मळेल अयि अ. १५३७ संबोधन अर्थमां - हे अयुक् १५ परि. विषम संख्यावाचक शब्द अयुक्छद पुं १९३३ सप्तपर्ण अयुक्पलाश पुं १६ ( परि) सप्तपर्ण अयुक्शक्ति पुं १६ ( परि) महादेव अयुगिषु पुं १६ ( परि) कामदेव अयुङ् नेत्र पुं १६ ( परि) महादेव अयुत पुं न. ८७३ दश हजार अयोऽग्र पुं न. १०१७ सांबेलुं
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शब्द / लिंग / श्लोक. / अर्थ अयोघन पुं ९२० लोढानो घण, मगदळ वगेरे अयोध्या स्त्री ९७५ नगरीनुं नाम अयोनि पुं १०१७ (शि. ८९) सांबेलुं अर पुं २८ १८मा तीर्थंकर अर पुं १२८ आरो
अर पुं ६९३ सातमा चक्री 'अरग्वध' पुं ११४० गरमाळो अरघट्टक के पुं १०९३ रेंट अरजस् स्त्री ५१० ऋतु - अप्राप्त छोकरी अरणि पुं. स्त्री ८२५ अग्नि उत्पन्न थाय तेवुं काष्ठ
अरण्य पुं न. १११० वन अरण्यश्वन् पुं १२९१ वरु अरण्यानी स्त्री १११० मोटुं वन अरति स्त्री ७२ तीर्थंकरमां न होय ते अढार दोष पैकी आठमो दोष अरति स्त्री ३१४ उत्कंठा, उत्साह अरत्नि पुं स्त्री ५९९ कोणीथी कनिष्ठा सुधीनुं माप अरम् अ. १५३० जलदी ( अरम् ) अ. १४७० जलदी अरविन्द न. ११६० कमळ अरर न. १००६ बारणं अररि पुं १००७ बारणं
( अररे!) अ. १५३७ संबोधन अर्थमां - हे ! अराति पुं ७२९ शत्रु
अराफल पुं ७८७ (शे.) दुष्फोट नामनुं शस्त्र