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शब्दमाला • १२५ शब्द / लिंग / श्लोक / अर्थ शब्द / लिंग / श्लोक / अर्थ (चूडारत्न) पुं ६५०. मस्तक उपरनो मणि | चैत्र पुं १५३ चैत्र मास चूत पुं ११३३ आंबो
| चैत्ररथ न. १९० कुबेरनुं उद्यान (चूत) न. २२९ कामनी योनि - उत्पत्ति | (चैत्रसख) पुं २२९ कामदेव, यौगिक नाम चूतक पुं १०९३ नानो कूवो
चैत्रिक पुं १५३ चैत्र मास चूर्ण पुं६३७ अबील, पटवासादि चूर्ण | चैद्य पुं ९५६ (ब.व.) चेदिदेश चूर्ण पुं न. ९७० कांकरावाळी धूळ
(पूर्व हिन्दुस्तान) चूर्णकुन्तल पुं ५६९ गुंचळावाळा बाल चोक्ष न. १४३६ फोतरा विनानु, चूलिका स्त्री २४५ दृष्टिवादनो पांचमो भेद
साफ करेलु चूलिका स्त्री १२२५ हाथीना कान- मूळ | चोच न. ११२१ वृक्ष वगेरेनी छाल 'चूष्या' स्त्री १२३२ हाथीनी केड उपर | चोटी पुं स्त्री ६७५ साडी
____ बांधवानो चामडानो दोर | चोदित न. १४८२. (शि. १३४) प्रेरणा करेलु चेट पुं ३६० चाकर, नोकर
चोद्य न. ३०४ आश्चर्य चेटी स्त्री ५३४ दासी
| चोर पुं ३८१ चोरी करनार, चोर चेटी स्त्री ३३४ दासी
| चोरड पुं ३८२ (शे. ९५) चोर चेत् अ. १५४२ जो, यदिना अर्थमां. | चौल पु ६७४ चोली कांचळी वगेरे 'चेतकी' स्त्री ११४६ हरडे
चौर पुं ३८२ (शि. २६) चोरी करनार, चोर चेतन पुं १३६६ आत्मा, जीव
चौरिका स्त्री .न. ३८३ चोरी चेतना स्त्री ३०८ बुद्धि, मूर्ति
चौर्य न. ३८३ चोरी चेतस्. न. १३६९ मन, चित्त
चौलुक्य पुं ७१२ कुमारपाल महाराजा (चेतोभव) पुं.२२९ कामदेव- यौगिक नाम | च्युत न. १४९० पडी गयेखें चेदि पुं (ब.व.) ९५६ पूर्व हिन्दुस्तान च्युति स्त्री ६०९ स्त्री- चिह्न, योनि चेदिनगरी स्त्री ९७५ चेदि देशनी नगरी, | च्युति स्त्री ६१२ गुदा
. त्रिपुरी चेल न. ६६६ वस्त्र
| (छइल्ल) पुं २४३ अत्यन्त होशियार चेल न. १४४३ अधम, हलकुं ... | छग पुं १२७५ बकरो चैत्य न. ९९४ जिन मंदिर, जैन देरासर | छगण न. १२७३ सूकुं छाण, छाणा चैत्यद्रुम पु ६२ अशोक वृक्ष । छगल पुं १२७५ बकरो