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[तेवू
सहवसति
संकलित सहवसति स्त्री०, सहवास पुं० साथे सहायन न० सोबत रहेवू - वसवू ते
सहायवत् वि० -नी सहाय मळी होय सहस् वि० बळवान (२) पुं० मागशर सहासिका स्त्री० सोबत; साथे बेसवं ते महिनो (३)शियाळो(४)न०शक्ति;
सहित वि० साथे; युक्त (२) सहन बळ; तेज (५) पाणी
करायेलु सहसा अ० बळपूर्वक (२) अविचारी- ___ सहितम् अ० साथै पणे (३) एकाएक; तरत ज . सहिष्णु वि० सहनशील; धीर.. सहस्थ पुं० सोबती
सहृदय वि० माया प्रेमाळ (२) सहस्य पुं० पोष महिनो
पुं० विद्वान (३) कदरदान; रसज्ञ सहल न० हजार (२) मोटी संख्या सहेल वि० रमतियाळ; क्रीडाशील सहस्रकर, सहस्रकिरण पुं० सूर्य सहोत्थायिन् वि० साथे बंड करनारं; सहनकृत्वस् अ० हजार वखत
साथे षड्यंत्र चलावनाएं सहस्रदीधिति पुं० सूर्य
सहोदर पुं० सगो भाई सहस्रधा अ० हजार रीते; हजार भागमां । सह्य वि० सहन करी शकाय तेवु (२) सहस्रधामन् पुं० सूर्य
सहन करवा योग्य (३) सहन करी सहस्रनेत्र पुं० इंद्र (२) विष्णु
शके तेवू (४) बराबरनुं; पूरतुं (५) सहस्रपत्र न० कमळ (२) सारस पंखी अनुकूळ ; मधुर (६) पुं० भारतनी सहस्रबाहु पुं० सहस्रार्जुन; कार्तवीर्य सात पर्वतमाळाओमांनी एक (२) बाणासुर
संकट वि० सांकडु (२) भीडवाळू सहस्रमरीचि, सहस्ररश्मि पुं० सूर्य (३) कृश करेलु (४) न० सांकडो सहस्रशस् अ० हजारोनी संख्यामां
रस्तो (५) मुश्केली; जोखम; भय सहस्राक्ष वि० हजार आंखवाळू (२) संकथ् १० उ० वातचीत करवी (२) सावध; होशियार (३) पुं० इंद्र
वर्णन करवू (३) समजाव, सहस्रार पुं०, न० माथानी टोचे आवेल संकथन न० वर्णन पोलाण (ऊंधा कमळ जेवू, ज्यां आत्मा संकथा स्त्री० संभाषण; वातचीत रहे छे)
संकर पुं० मिश्रण; भेळसेळ (२)वर्णोनी सहस्राचिस् पुं० सूर्य
भेळसेळ सहस्रांशु पुं० सूर्य
संकर्षण न० खेंचवू ते; खेंचीने भेगुं सहलिन् वि० हजारनो स्वामी-मालिक करवं ते (२) आकर्षq ते (३) (२)हजारनुं बनेलं (३)हजार जेटलं खसेडवू ते (४) पुं० बळराम (५) (४) पुं० हजार माणसोनो समूह शेषनाग (६) जगतनो नाश करनारो (५)हजारनो सेनापति
(७) अहंकार सहाध्ययन न० साथे भणq ते
संकल् १० उ० सरवाळो करवो (२) सहाध्यायिन् पुं० साथे भणनारो
एकळं करवू; ढगलो करवो (३) सहाय पुं० मित्र; सोबती (२) मानवं; गणवू (४) पकडवू अनुयायी (३) सहायक
संकलन न० भेगु कर ते सहायक पुं० मददगार
संकलित वि० भैगु करेलु (२) पकडेलु सहायता स्त्री० मदद; सहाय
(३) फरी हाथमां लीधेलु
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