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२१६ : परिशिष्ट १
निठुर-निरंश
(खीण) (अच्छ)
(संख) (अहिंसा) (अमाण) (अमाया) (निस्सील) (अमोह)
(मित्त) (पलिउंचण)
(उक्कंचण) (मोहणिज्जकम्म)
(माया) (कक्क)
निठुर निण्णाम निदरिसण निदाण निस निद्देस निद्धम्म निधान निधि निधुवन निन्नेहबंधण निन्हव निपुण निप्पंक निप्पच्चक्खाण निप्परिग्गहरुइ निप्पिवास निप्पीलए निभंच्छण निभंछण निब्भच्छेज्ज निमंतण निमंत्रण निमित्त निमित्त निमित्त निमित्त निमित्तंति निम्न निम्मंस निम्मम
(उज्जल) निम्मल (अणाम) निम्मल
(णाय) निम्मल (संताण) निम्मलतर (आणा) निम्माण (उववाय) निम्माया (पाव)
निम्मेर (पृ ८८) निम्मोह (निषान) नियम
(रति) नियडि (संजत) नियडि (आह्वान) नियडि ' (कुशल) नियडि
(अच्छ) नियडि (निस्सील) नियडिआयरण (संजत) नियडिकम्म
(पाव) नियडिल्ल (आवीलए) नियत (आओसण) नियति
(अक्कोस) नियत्ति (आओसेज्ज) नियम
(छंद) नियर (निकाच) नियाग (पृ८८) नियाण
(मूल) नियुक्त (लिंग) नियोग (हेतु)
नियोग (धारयंति) नियोजना
(कुब्ब) निरंतर (सुक्क) निरंतराय (संजत) निरंश
(अदिण्णादाण)
(वंक)
(ध्रुव) (अलिय) (पडिकमण) (पच्चक्खाण)
(पृ ८८) (पृ८८) (वावड) (अणुओग)
(पृ ८८) (चोयणा)
(घण) (अणंतराय) (परमाणु)
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