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पुद्गल-कोश
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सम्पादक द्वय का गहन अध्ययन और अथक श्रम इस ग्रन्थ में प्रतिम्बित हुआ है। शोधार्थियों के लिए यह ग्रन्थ अत्यन्त उपयोगी है।
-श्री कन्हैयालाल सेठिया, कलकत्ता
जैन दर्शन समिति ( १६-सी, डोवर लेन, कलकत्ता-२९ ) द्वारा श्री श्रीचन्द चोरडिया के सम्पादन में वर्धमान जीवन कोश' कृति का प्रकाशन हुआ है। प्रारम्भ में स्वनामधन्य आदरणीय जैनरत्न श्री मोहनलालजी बांठिया इस योजना के प्रवर्तक थे। श्री चोरडियाजी के सहयोग से यह ग्रन्थ तैयार हुआ था। भगवान महावीर की जीवनी से सम्बन्धित सामग्री को प्रस्तुत करने वाला यह ग्रन्थरत्न अत्यन्त उपयोगी एवं संग्रहणीय है।
अखिल भारतीय प्राच्यविद्या सम्मेलन, १३वें अविवेशन में प्राकृत एवं जैन विद्या विभाग–अध्यक्षकीय भाषण
२९ से ३१-१०-८२ प्रस्तुत समीक्ष्य ग्रन्थ 'वर्धमान जीवन कोश' का प्रकाशन जैन विषय कोश के अन्तर्गत हुआ। सम्पादक द्वय ने इस ग्रन्थ की सामग्री साम्प्रदायिकता के दायरे से हठकर उपलब्ध समस्त वाङ्मय से एकत्रित की है। प्रस्तुत प्रकाशित प्रथम खण्ड में तीर्थंकर महावीर के जीवन विषयक, च्यवन से परिनिर्वाण तक का विषय संयोजित हुआ है। सामग्री की प्रस्तुति में सम्पादन कला का निर्दोष उपयोग हुआ है।
-डा० भागचन्द्र जैन, नागपुर
भगवान महावीर के जीवन से सम्बन्धित यह "विश्व कोश' है। भगवान महावीर के जीवन और सिद्धांतों के विषय में विपुल साहित्य की रचना हुई है, किन्तु वह इतना फैला हुआ है कि शोधकर्ताओं को इसकी पूरी जानकारी प्राप्त करने में बड़ी कठिनाई होती है। आलोच्य कोश ने उस कठिनाई को बहुत कुछ अंशों में दूर कर दिया।
- यशपाल जैन, दिल्ली
भगवान महावीर की जीवनी सम्बन्धी समस्त पहलुओं के अवतरणों का संग्रह करने में विद्वान सम्पादकों ने बड़े ही धैर्यपूर्वक श्रुतसमुद्र का अवगाहन कर बहुत ही महत्वपूर्ण भागीरथ प्रयत्न किया है ।
-भंवरलाल नाहटा, कलकत्ता
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