________________
हिन्दी- गुजराती धातुकोश
५१
कुढ़ अ. भव (सं. क्रुध् * क्रूध् ; दे. इआले कुरेद स. देश. ( *कुर ; दे. इआले 3319) ___3598) भीतर ही भीतर जलना 827 खुरचना, करोटना 844 कुतकुता अ. देश (अ. व्यु. दे. पृ. 107, हि. कुरै स. ना. भव (कूरा संज्ञा; सं. कूट; प्रा. दे. श.) सर्दी से सिहरना 828
कूड; ह. भा.) ढेर लगाना; अ. ऊपर से कुतर स. देश. (* कोत्र; दे. इआले 3512) ढेर के रूप में किसी चीज़ का नीचे आकर
दाँतों से किसी चीज़ का कुछ अंश काट लेनाः ढेर के रूप में गिरना 845 किसी को मिलनेवाली रकम में से कुछ काट कुरोद स. दे. 'कुरेद' 846
लेना. गुज. कोतरः तुल. खोतर 829 कुरै अ. दे. 'कुरल' 847 कुदक अ. दे. 'कूद , 830
कुल अ. देश. ( *कुलू; दे. इआले 3334) दर्द कुन अ. देश. (कुन्द संज्ञा; दे. इआले 3295) करना, टीसना; स. चोट पहुँचाना 848 खरादना 831
कुलक अ. अनु. किलकना 849 कुनकुना अ. ना. देश. (कुनकुना विशे. अ. व्यु. कुलकुला अ. ना. अनु. देश. (कुलकुल संज्ञा; दे. पृ. 107 हि. दे. श.) कनमनाना 832
प्रा. कुलकुल; दे. पृ. 255, पा. स. म.) *कुन्न अ. वि. (कीनः फा. दे. पृ. 552, मा.
कुल-कुल शब्द होना; विकल होना; स. कुलको.) क्रोध या रोष करना 833
कुल शब्द उत्पन्न करना. गुज. कळकळ 850 कुप अ. दे. 'कोप' 834
कुलबुला अ. ना. अनु. देश. (कलबुल संज्ञा कुप्प अ. दे. 'कोप' :835
प्रा. कुरुकुरु; दे. पृ. 185, हि. दे. श.) कुम्हला अ. देश. (* कोम्ह ; प्रा. कुम्मण विशे.;
कीडा, मछलियों आदि का एक साथ हिलनादे. इआले 3524) मुरझाना; सूखने लगना.
डोलना; बेचैनी प्रकट करना 851 गुज, करमा 836
कुलाँच अ. ना. वि. ( कुलाच संज्ञा तु. दे. पृ. *कुर अ. ना. (कूरा संज्ञा ) वस्तुओं को एक
561, मा. हि. को.) चौकड़ी भरना; उछलनाजगह एकत्र करना 837
कूदना 852 कुरकुरा अ. दे. 'कुड़कुड़ा' 838
कुलेल अ. दे. 'कलोल' 853 कुरकुरा अ. अनु. कुरकुर करना; गतिशील होना कुसमिसा अ. दे. 'कसमसा' 854 839
कुहक अ. अनु. कोयल का कुहू कुहू शब्द करना; काल अ. अन पत्रिों का
पिहकना. तुल. गुज. कुहूकार 855 बोलना 840
कुहा अ. ना. भव (सं. क्रोध संज्ञा, प्रा. कोह) कुरला अ. देश. करुण स्वर में बोलना, आर्तनाद क्रुद्ध होना; स. किसीको अप्रसन्न करना 856 करना 841
कुहुक अ. दे. 'कुहक' 857 कुरिआर स. देश. कोई चीज निकालने के लिए फँच स. ना. देश. (कूँचा संज्ञा ) कुचलना 858 ___ कुछ काटना या खोदना 842
कूँज अ. दे. 'कूज' 859 कुरिया स. देश. कुरेदना, कुरैना 843
कूँथ स. अर्धसम (सं. कुन्थ् ; दे. इआले 3294)
Jain Education International
For Private & Personal Use Only
www.jainelibrary.org