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श्री यतीन्द्रसूरि अभिनंदन ग्रंथ
विविध
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१५ वीं शताब्दी जंबूस्वामी को विवाहलो सं. १४८५ हीरानंदसूरि ,, धवलगीत नेमिनाथधवल सं. १४६० बाद जयशेखरसूरि
महावीरगीत सं. १४७५ के बाद जिनभद्रसूरि ___गुर्वावली तपागच्छगुर्वावली सं. १४८२ से पूर्व जिनवर्द्धमानगणि __ स्तुति नमस्कार चतुर्विशति जिनस्तुति सं. १४९० के बाद जयसागर
चतुर्विंशति नमस्कार सं. १५०० पूर्व जिनशेखर __तीर्थमाला अष्टोत्तरी तीर्थमाला सं. १५०० के पूर्व मुनिप्रभसूरि प्रबंध (बंध) त्रिभुवनदीपकप्रबंध सं. १५०० पूर्व जयशेखरसूरि
भरत बाहुबळी प्रबंध (पवाडो) सं. , .,
गुणरत्नसूरि नेमिश्वर चरित फागबंध सं. १४७० आसपास माणिक्यसुंदरसूरि
विराट पर्व सं. १४७८ पूर्व शालिसरि परिपाठी चैत्यपरिपाठी सं. १४८७
जयसागर नगर कोट महातीर्थ चैत्य ।
परिपाठी सं. १४८४ के आसपास जयसागर पवाडो विद्याविलास पवाडा सं. १४७८ पूर्व हीरानंदसूरि चतुष्पदिका या जिनकुशळसूरि चतुष्पदिका सं. १४८१
जयसागर चउपई उत्तमा रिषि संघ स्मरणा चतुष्पदी सं. १५०० पूर्व
देवसुंदर हंसराज वच्छराज चउपई सं. १४११
विजयभद्र शानपंचमी चउपई सं. १४२३
विद्धा कारबंधि चउपई सं. १४५० देवसुंदरसूरिशिष्य शकुन चौपई सं. १४९२ के आसपास
गुणसमुद्रसूरिशिज्य गौतमपृच्छा चौपई सं. १५०० पूर्व सा हंस नंदीश्वर चौपई सं. , ,
मालदेव मंगलकलश चौपई सं. ,, , सर्वानंदसूरि चिंहुगति चौपई सं. १४६२ पूर्व वस्तिग (वस्तो) स्थलिभद बारहमास सं. १४८६ बाद हीरानंदमूरि
बारहमास
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