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शुभकामना
(सेठ) अचल सिंह
संसद सदस्य ३२ A गार्डनरोड
आगरा आचार्य श्री आनन्दऋषि जी म० ने स्थानकवासी जैन समाज को एकता-संगठन और विद्या विकास की दिशा में आगे बढ़ाया है। उनका हृदय बहुत सरल, मिलनसार है । वे समाज के प्रत्येक व्यक्ति के साथ बड़े प्रेम और सद्भाव पूर्वक बातचीत करते हैं। एक धर्मनेता और लोकनेता के उपयुक्त गुण उनके व्यक्तित्व में हैं।
उनके अमृत महोत्सव प्रसंग पर अभिनन्दन कर अभिनन्दन ग्रन्थ भेंट किया जारहा है। यह ग्रन्थ उनके गरिमामय व्यक्तित्व के अनुरूप ही होगा ऐसा मुझे विश्वास है । मेरी शुभ कामनायें !
-अचल सिंह
सदस्य लोक सभा ३ दिसम्बर, १६७४
आचार्य श्री आनन्दऋषिजी ने शिक्षा, साहित्य एवं संस्कृति के सम्बन्ध में लोकोपयोगी और यशस्वी कार्य किया है। उनके कार्यों से धार्मिक श्रद्धा और राष्ट्रीय एकता में वृद्धि हुई है।
वह हमारे बीच बहुत दिनों तक जिएं, स्वस्थ रहें और जनता की सेवा करें ऐसी मेरी भगवान विश्वनाथ से प्रार्थना है ।
-सुधाकर पाण्डेय
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