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________________ (55) समिति पांच हैं 1 इO 2 भाषा 3 एषणा 4 आदान निक्षेपण 5 उत्सर्ग। मन वचनकाय की क्रिया का रोकना ये तीन गुप्तियां हैं। इO-(१) प्रसिद्ध तीर्थों तथा जिनप्रतिमाओं को बंदने के लिए और गुरु आचार्य वा वयोवृद्धों की सेवा करने के लिए गमन करना (2) दिन में सूरज की किरणों से स्पष्ट दीखनेवाले और बहुत लोगों से प्रचलित मार्ग में दया से जीवों की रक्षा करते हुए धीरे 2 गमन करना 3 चलने से पहले चार हाथ मार्ग को भले प्रकार देख लेना और प्रमादरहित होकर चलना / ___ भाषा-सदिग्ध और पापसंयुक्त भाषा वा वाणी का त्याग करना और दोष रहित सूत्रानुसार साधुजन से माननीय उत्तम भाषाका ग्रहण करना। एषणा-सर्व दोष रहित, शुद्ध, और विना मांगा आहार करना / आदान निक्षेपण-शय्या, आसन, उपधान, शास्त्र और उपकरण आदि को पहले भले प्रकार देखना फिर उसे उठाना वा रखना तथा उसे बड़े यत्न से लेना वा धरना / ___ उत्सर्ग-जीवरहित पृथिवी पर मल मूत्र श्लेष्मादि को बड़े यन से प्रमादरहित और सावधान होकर डालना वा गिराना / - मनोगुप्ति--राग द्वेष छोड़कर मन को खाधीन करना और समताभाव में स्थिर रखना तथा सिद्धान्तसूत्र की रचना में सदा लगाए रहना।
SR No.010656
Book TitleAnitya Bhavna
Original Sutra AuthorN/A
AuthorJugalkishor Mukhtar
PublisherJain Granth Ratnakar Karyalay
Publication Year1914
Total Pages155
LanguageHindi, Sanskrit
ClassificationBook_Devnagari, Spiritual, & Religion
File Size5 MB
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