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________________ मुंहता नैणसीरी ख्यात अत वात दहियारी ( परबतसर माहै लिखी । संमत् १७२२ आसोज मांहै ) दहियांरो उतन मूळ सुणियो छ । दिखणनं नासक त्रंबक गोदावरी कन, गढ़ थाळनेर थो' । इतरी ठोड़ दहियांर अजमेर माहै हुती १ देरावर-परवतसर गांव ५२ । १ सावर-घाटियाळी । १ हरसोर । विल्हणरो बेटो हरधवळ धणी। १ माहरोटरो विल्हणवटी नांव । १ परवतसर साह परवत मांडवरै पातसाहरो करोड़ी आयो तिण आपरै नांवे वसायो । पंवार करमचंदरी वार मांहै. . संमत १५७६ सांह परवत जुहर। दहियार पीड्यांरी विगत१ प्रादनारायण । २ कमल । ३ ब्रह्मा। ४ पित्रावरण। ५ अगस्त । ६ पोलस्त। ६ पागरिख । ८ दरवाना। 00 १० निगम । म हिलोंकी गदि जन्म-भूमि दक्षिण में गोदावरी पाग क सरी मेरा भी बने स्थान दहियोगः अजमेर प्रान्त में थे। , मानो मांग मानका नाम बिमावादी मांग बारमाही मोरगे Ear गरम आकिमी १५ में पवार यामनंदये
SR No.010609
Book TitleMunhata Nainsiri Khyat Part 01
Original Sutra AuthorN/A
AuthorBadriprasad Sakariya
PublisherRajasthan Prachyavidya Pratishthan Jodhpur
Publication Year1960
Total Pages377
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size17 MB
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