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महता नैणसीरी ख्यात वैरो वरसिंघरो अांक ६---
७ भांडो। ८ नारणदास भांडारो। बूदी धणी । रावसूजारी वेटी खेतूबाई परणियो हुतो' । अमल निपट घणो खावतो। सु नारणदास पैसाव करण बैठो हुतो सु यूंहीज ऊंघियों । सुखेतूवाई राव ऊपर साड़ीरो छेह नांखनै ऊभी रही। यूं करतां सवार हुवो, रावरी. अांख खुली । देखे तो खेतू ऊभी छै । तरै राव राजी हुवो। कह्यो-"मांहरा घर-सारूं थे जाणोसु' मांगो । तरै वाई कह्यो-“मांहरै तो थांरी सलामतीसू सोह थोक छ, पिण रावळो" अमलरो पोतो' मो कनै रहै ।" तरै पोतो खेतू सांपियो। खेतू अमल दिन २ घटायो । तठा. पछ. वाईरै सूरजमल बेटो हुवो । पछै नारणदास एक वार राणा सांगारी वार पातसाह मांडवरो झालियो छै' । ६ सूरजमल वडो
आखाड़सिध" रजपूत हुवो । राणा रतनसी सांगावतनू मरतो ले मूवो"। हाडो मीयो" बछारो, प्रांक ८ ।
सांवळदास । १० चंद्रभांण । ११ नरहरदास । भावसिंघ रै. परधांन । मींयारै ग्लै? सादियाहेड़े रहै छै । .
बात हाडै सूरजमल नारणदासोतरी नै राणा .
रतनसी सांगावत मामलो हुबो तिण समैरी। रांणो सांगो रायमलोत चीतोड़ राज करै छै । टीकायत बेटो रतनसी राठोड़ धनाईरै20 पेटरो छै। रांणो सांगो पछै हाडी करमेती, हाडा नरवदरी बेटी परणियो थो। सु रांणो करमेतीसू घणी मया
1 जोधपुरके राव सूजाकी पुत्री खेतूबाईको ब्याहा था। 2 अफीम। 3 पेशाब करते हुएको ही नींद आगई। 4 खेतूबाई पेशाव करते हुए निद्रित नारायणदासके ऊपर अपनी साड़ीका छोर डालकर खड़ी रही। 5 इसी प्रकार प्रातःकाल होगया तव राव नारायगादास की. नींद उडी। 6 हमारे घरकी सामर्थ्यानुसार। 7 चाहे जो। 8/9 मेरे तो आपकी कुशलपूर्वक विद्यमानतासे सभी वस्तुएं हैं। 10 अापका। 11 अफीमका वटुअा। 12 मेरे पास । 13 जिसके बाद खेतूबाईके सूरजमल नामक पुत्र उत्पन्न हुअा। 14 पकड़ा है। प्राथय लिया है। 15 महाबली। 16 सूरजमल मरता हा रतनसीको भी ले मरा। 17 वछाका पुत्र हाडा मीया। 18 मीयाका गाँव सादियाहेड़े रहता है। 19 नारायणदासका पुत्र हाडा ... नूरजमल और सांगाका पुत्र रतनसीके परस्पर युद्ध हुआ उस समयका वर्णन। 20 राव . मूजाका पुत्र वाघाकी कन्या राठोड़ धनाईकी कोखसे रतनसीका जन्म हुआ।