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[ ३१ ] विपय बोल नम्बर | विषय
बोल नम्बर कपाय जीतने के चार उपाय १६७ | किल्विषिकी भावना १४१ कपाय प्रतिकमण ३२६ - किल्विषिकी भावना के पांच कपाय मोहनीय २६ प्रकार
४०३ कांक्षा
२८५ | किस गति में किस कपाय की काम कथा
१७ अधिकता होती है १६३ काम पुरपार्थ १६४ कुप्य प्रमाणातिक्रम कामभोग तीव्राभिलापा ३०४ कुम्भ की चौभङ्गी १६८ कामभोगाशंसा प्रयोग ३६३ कुम्भ को उपमा से चार पुरुप १६६ कायगुप्ति (ब) १२८ कुशील काय दुष्प्रणिधान ३०६ कुशील
३६६ काय योग
६५ फुशील के पांच भेद काय स्थिति
३१ कूटतूला कूटमान कायिकी २६२ कूट लेखकरण
३०२ कारक समकित
८० कृत्य प्रायश्चित्त कारण ४३ कृत्ला
३२६ कारण के दो भेद ३५ कृपण वनीपक
३१३ कारण्य भावना २४६ कृषि कर्म कार्माण बन्धन नामकर्म ३६० कृष्णपक्षी कार्माण शरीर ३८९ केवल ज्ञान
३७५ कार्य ४३ केवलज्ञानी जिन
७३ काल २१० । केवल ज्ञानावरणीय
३७८ काल के भेद और व्याख्या ३२ केवल दर्शन
१६९ कालचक्र के दो भेद ३३ केवली के परिपह उपमर्ग। कालातिक्रम
३१२ सहने के पांच स्थान ३३२ काव्य के चार भेद २१२ केवली के पांच अनुत्तर ३७६
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