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श्रीभगवती सूत्र
[ ६] . बच्चा कभी माँ के स्तन में दांत लंगा देता है तो माँ उसे थप्पड़ मारती है। यह इसलिए कि वालक को माता का दूध पीने का अधिकार है, रंक पीने का हक नहीं है। इसी प्रकार यह पृथ्वी माता है । इस पर दूध पीने के समान अधि. कारमय कार्य जक तक होते रहें तब तक इसका सौन्दर्य नहीं दिगड़ा था, लेकिन खून पीने के समान महारम्भ के कार्यों से इसका लौन्दर्य नष्ट हो रहा है। कोयलों के लिए जंगल वीरान हो गये, जिससे अनेक हानियाँ हुई। इसी प्रकार धुए ले प्रकृति बिगड़ी। इन-सक के बदले मिला क्या? केवल तन टैंकने के लिए कपड़ा, जो चर्खे की बदौलत भी मिल.सकताथा।
. . खादी पहनने में जो क्रिया लगेगी वह खादी की ही
लगेगी, मिल की नहीं लगेगी। मगर मिल के वस्त्र पहनने से तो मिलं की क्रिया लगेगी ही। हाथ से बनी खादी की क्रिया हस्की लगेंगी. और मिल की क्रिया भारी लगेगी । इसके ‘अंतिरिक्त मिलों के कारण मनुष्यों की आजीविका छिन रही है। मशीने. बहुत से मनुष्यों के बदले का काम कर डालती हैं और इससे मनुष्यों में बेकारी वढ़ती हैं. और वेकारी बढ़ने से भुखमरी फैलती है। मनुष्यों का असली भोजन पैदा करनेवाले लोग मिल के गुलाम बन जाते हैं और अपने जीवन को खो वैठते हैं।। मिल के कपड़े के लिए लोग हाथ, पैर कंटा वैठते हैं.: उसमें लगने वाली चर्वी और चमड़े के लिए पशुओं की निर्दयताःपूर्वक हत्या की जाती है। क्या आपको भी उन दोन 'भार मूक.पशुओं पर दया नहीं आती? अगर श्राप.इन जीवों -:.की.हिंसा..पर विचार.करेंगे तो आपको हाथ के और मिल के. · कपड़े का अन्तर साफ मालूम हो जायगा। .