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________________ १३२ . जैनकथा रत्नकोष नाग चोयो. काम करवू. हे स्वामी यमने मलवानी वात साची म जाणो. तमें क्या पण मुवा जीवता थया एबुंसांजल्यु ? मृत्यु पाम्यो,तेहने देवता पण जी वाडवाने समर्थ नथी तो वली बीजो तो क्याथीज होय ! ए सघ में नि पुणतानुं कपट प्रगट की , कारण के कुबुद्धि एवो मंत्री तेणें कूडी प्रपंच रचना करीने वारंवार प्राणांत संकट मांहे मुमने नाख्यो हतो, तेमज तम ने पण फुःखमांही नाख्या, तमारा दांत पडाव्या,तेनी तमोने महोटी वेदना थ. इत्यादिक हेराजन् ! ते पापीयें महापुःख दीधुं. तुम सरखा प्राणीने कुर्बुदि दीधी,तम जेवा सुजनने परडोह, परस्त्रीना लालची कस्या. कारण के मुष्ट मंत्रीथी राजा कुःख पामे, ने सुमंत्रीथी राजा सुख पामे, एटला माटे कपट रचना करीने उष्ट प्रधानने में अग्निमांहे नाखी नस्म कीधो ले कह्यं जे. के व्याधि बने वैरी ए बे न्हाना होय त्यांथीज दवा पण वधवा देवा नहीं, तमें तो मारा स्वामी बो! माटे ढुं तमने अनि मांहे केम पडवा दलं ? हंत इति खेदे जेमाटे कडुं ने जे, स्वामीनो शेह करवो,ते महोटुं पाप . बीजा नो पण करेलो शेह उखना समूहने पमाडे ले तो मित्र, स्वामी अने गुरु नो शेह कस्वाथी महाकुःख पामीयें,एमां तो गुं आर्य ने ? एहवी वाणी हरिबलना मुखथकी सांजलीने राजा अत्यंत शंका पाम्यो, अने लाग्यो थको विचार करतो हवो के हा!! ए हरिबल महारं सवलुं मुश्चेष्टित जाणे ने ? राजा तेज वेलायें घणी लजाथी नीचं मुख करी शून्य मनथको उनो रह्यो. जाणे मूळ आवी होय नहीं ? एवो थइ गयो. पड़ी हरिबल मीठा वचन रूप औषधे करी राजाने समजावी तेनुं मुःख टालतो हवो. राजा पण हरिबलना मुखथकी देवतानुं सान्निध्य अने तेनुं अद्भुत चरित्र सांजलीने विस्मय पाम्यो थको मस्तक धूणावतो हवो. अने मनमां विचारवा लाग्यो जे एवो महोटो अपराध करनार जे ढं तेने या महोटी शक्तिना धणीय बलवा दीधो नहिं ! वली ए महा सा मर्थ्यवान बतां एणे महारुं राज्य पण न लीधुं ? ने दुं असमर्थ ते एहनी लक्ष्मी लेवाने नजमाल थयो. एटला माटे हुँअधममां अधम बूं. या पर म नपगारीना रणमांथी हुँ क्यारे ! लूटीश ? इत्यादिक ते दरिबलनी प्रशं सा तथा पश्चात्ताप अने पोताना आत्मानी निंदा करतो नवथी नवेग पा भ्यो थको घणीवारे अने घणे कष्टें राजा पोताने घेर आयो. तथा यमरा
SR No.010249
Book TitleJain Katha Ratna Kosh Part 04
Original Sutra AuthorN/A
AuthorBhimsinh Manek Shravak Mumbai
PublisherShravak Bhimsinh Manek
Publication Year1891
Total Pages477
LanguageHindi
ClassificationDictionary
File Size63 MB
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